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West Bengal minister arrested: ममता सरकार के मंत्री मलिक अरेस्ट, ईडी ने की कार्रवाई

West Bengal minister arrested: ज्योतिप्रिय मलिक ममता सरकार में वन मंत्री से पूर्व खाद्य मंत्रालय देख रहे थे. मंत्री ज्योतिप्रिय मलिक को प्रवर्तन निदेशालय ने राशन घोटाले के मामले में अरेस्ट कर लिया है.

Updated on: 27 Oct 2023, 09:01 AM

नई दिल्ली:

West Bengal minister arrested: पश्चिम बंगाल के मंत्री ज्योतिप्रिय मलिक को प्रवर्तन निदेशालय ने राशन घोटाले के मामले में अरेस्ट कर लिया है. मलिक ममता दीदी की सरकार में वन मंत्री का पद संभाल रहे हैं. जानकारी के अनुसार गुरुवार की सुबह ईडी की ओर से उनके घर पर छापा मारा गया था. मीडिया रिपोर्टस के अनुसार ये छापेमारी राशन घोटाले के मामले में थी जिसकी जांच ईडी की ओर से किया जा रहा है. 

जानकारी के अनुसार ज्योतिप्रिय मलिक ममता सरकार में वन मंत्री से पूर्व खाद्य मंत्रालय देख रहे थे. ये ममता दीदी के लिए किसी झटके से कम नहीं है. ये पहली बार नहीं है जब पश्चिम बंगाल में ईडी की ओर से छापेमारी की गई है. इससे पहले भी कई बार छापा पड़ चुका है. ईडी का ये छापा बकीबुर रहमान की गिरफ्तारी के बाद हुआ है जो चावल मिल का मालिक है. 

खुद का बताया बेकसूर

कहा जाता है कि उसने दो से तीन साल के भीतर है तीन कंपनियां खोली जिसके जरिए उसने ये घोटाले को अंजाम दिया. हलांकि 2004 में वो सिर्फ एक चावल मिल का मालिक था. ईडी का कहना है कि रहमान ने इसी शैल कंपनी के जरिए पैसों की हैराफेरी की. उधर रहमान का कहना है कि वो किसी बड़ी साजिश का हिस्सा बन गया और वो बिल्कुल निर्दोष है. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार ईडी ने गुरुवार को मंत्री ज्योतिप्रिय मलिक के 12 से अधिक ठिकानों पर छापेमारी की. ये पूरा मामला राशन में करोड़ों रुपए का है जिसमें मंत्री ने हेराफेरी की है. 

करोड़ों की संपत्ति

ईडी का कहना है कि मिल मालिक रहमान ने राशन घोटाले के लिए विभाग में अपना रैकेट तैयार किया. इसी रैकेट के जरिए जनता को मिलने वाले राशन के समान की चोरी करता था. जिसे उसने अवैध रूप से मार्केट में बेचकर करोड़ों रुपए बनाए और घोटाला किया. इतना ही नहीं उसके कोलकाता और बेंगलुरु में कई होटल, पब के अलावा बेनामी संपत्ति है. इसके साथ ही उसके पास विदेशी कार भी है. जिसकी कीमत करोड़ों में है. ईडी ये पता लगाने की कोशिश कर रही है कि इस घोटाले में कौन - कौन शामिल है और रहमान के साथ कौन इस घोटाले में शामिल था.

 टीएमसी सांसद महुआ मोईत्रा

इससे पहले टीएमसी सांसद महुआ मोईत्रा पर आरोप है कि उन्होंने पैसे लेकर संसद में सवाल करती है. इसका आरोप बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने लगाया है. इस मामले की जांच संसद की कमेटी कर रही है. अब ये घटना 2024 से पहले टीएमसी के लिए किसी बड़े झटके से कम नहीं है. ममता दीदी को इसका जवाब देना होगा.