उत्तर भारत में जल्द ही सावन का पावन महीना शुरू होने जा रहा है. 11 जुलाई से 9 अगस्त तक चलने वाले इस विशेष माह में हर साल की तरह इस बार भी लाखों शिवभक्त हरिद्वार और गोमुख से गंगाजल लेने के लिए कांवड़ यात्रा पर निकलेंगे. कांवड़ यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं को साफ और शुद्ध भोजन उपलब्ध कराने के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश सरकार ने एक खास कदम उठाया है.
खाद्य सुरक्षा को लेकर बड़ा कदम
यूपी सरकार ने इस बार फूड सेफ्टी कनेक्ट ऐप नाम से एक मोबाइल एप्लिकेशन लॉन्च किया है, जिसकी मदद से कांवड़ यात्री रास्ते में पड़ने वाले ढाबों पर खाने की गुणवत्ता को लेकर शिकायत दर्ज कर सकते हैं. इस ऐप का क्यूआर कोड कांवड़ रूट के तमाम ढाबों पर लगाया जा रहा है, जिसे स्कैन करके ऐप डाउनलोड किया जा सकता है. यह पहल खाद्य सुरक्षा विभाग द्वारा चलाई जा रही है.
हर ढाबे पर एक आधिकारिक स्टिकर लगाया जा रहा है जिसमें ढाबा मालिक का नाम और उसका संपर्क नंबर दर्ज होगा. इससे न सिर्फ ढाबे की पहचान स्पष्ट होगी, बल्कि किसी प्रकार की गड़बड़ी की स्थिति में तुरंत शिकायत दर्ज कराई जा सकेगी.
खाने में मिलावट की रोकथाम
हर साल कांवड़ यात्रा के दौरान खाने-पीने में मिलावट की शिकायतें सामने आती हैं, जिससे श्रद्धालुओं को दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. इसी को ध्यान में रखते हुए इस बार सरकार ने पहले से ही सतर्कता बरतने का निर्णय लिया है. फूड सेफ्टी विभाग ने ढाबों को रेट लिस्ट डिस्प्ले करने का भी आदेश दिया है ताकि श्रद्धालुओं से मनमानी वसूली न हो.
मेरठ में हुई शुरुआत
मेरठ के मशहूर शिव जितेंद्र ढाबा और पंडित ढाबा पर पहले ही इस ऐप का स्टिकर लगाया जा चुका है. आने वाले दिनों में इसे अन्य ढाबों पर भी लगाया जाएगा.
सावन में चार सोमवार
इस बार सावन में कुल चार सोमवार पड़ रहे हैं, जिसमें पहला सोमवार 14 जुलाई को है. इस पावन महीने में भक्त शिवलिंग पर गंगाजल, दूध, बेलपत्र और धतूरा अर्पित कर व्रत रखते हैं. ऐसा माना जाता है कि सावन से कार्तिक तक सृष्टि का संचालन स्वयं भगवान शिव करते हैं.
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