डोनाल्ड ट्रंप को बड़ी राहत, कैपिटल हिल हिंसा भड़काने के आरोपों से बरी
डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के इतिहास में ऐसे पहले राष्ट्रपति बन चुके हैं जिन्होंने दो बार महाभियोग का सामना किया.
highlights
- डोनाल्ड ट्रंप कैपिटल हिल हिंसा भड़काने के आरोपों से बरी
- दूसरी बार भी महाभियोग प्रस्ताव से बचे, 10 वोटों से राहत
- दो बार महाभियोग का साममा कर दर्ज हो गए इतिहास में
वॉशिंगटन:
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) के लिए इससे बड़ी राहत और कुछ नहीं हो सकती. अमेरिकी सीनेट में महाभियोग के प्रस्ताव पर चर्चा के बाद ट्रंप को 6 जनवरी 2021 के दिन वॉशिंगटन के कैपिटल हिल (Capitol Violence) में हुई हिंसा के मामले में बरी कर दिया गया. इससे पहले पांचवे रोज की सुनवाई के बाद वोटिंग कराई गई. वोटिंग के दौरान 57 सीनेटरों ने डोनाल्ड ट्रंप को दोषी पाया, जबकि 43 सीनेटरों ने उन्हें दोषी नहीं पाया. 100 सदस्यों वाले सीनेट में ट्रंप को दोषी करार देने के लिए सीनेट को जरूरी दो-तिहाई बहुमत यानी 67 वोटों की जरूरत थी, जो नहीं मिल सका. इसी दस वोटों की कमी की वजह से डोनाल्ड ट्रंप बरी कर दिए गए. दूसरी बार महाभियोग का सामना कर रहे अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के वकीलों ने सीनेट में साक्ष्य प्रस्तुत करते हुए कहा है कि उन पर हिंसा भड़काने का जो आरोप लगाया गया है, वह एक ‘बहुत बड़ा झूठ’ है.
दो बार महाभियोग का सामना कर बने अमेरिकी इतिहास के पहले राष्ट्रपति
हालांकि डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के इतिहास में ऐसे पहले राष्ट्रपति बन चुके हैं जिन्होंने दो बार महाभियोग का सामना किया. इतना ही नहीं, वह पद से हटने के बाद महाभियोग ट्रायल का सामना करने वाले भी अमेरिका के पहले राष्ट्रपति का तमगा हासिल कर चुके हैं. बिल कैसिडी, रिचर्ड बर्र, मिट रोमनी और सुसान कोलिन्स सहित सात रिपब्लिकन सीनेटरों ने ट्रंप के खिलाफ महाभियोग चलाने के पक्ष में मतदान किया. बरी होने के तुरंत बाद डोनाल्ड ट्रंप ने अपना बयान जारी किया और सबसे पहले अपने लीगल टीम को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा 'अमेरिका का कोई भी राष्ट्रपति कभी भी इस तरह से नहीं गुजरा है'. गौरतलब है कि 6 जनवरी को हुई कैपिटल हिल हिंसा में पांच लोगों की मौत हो गई थी और कई पुलिसकर्मी घायल हो गए थे. डोनाल्ड ट्रंप पर आरोप लगे थे कि उन्होंने ही अपने समर्थकों को उकसाया था, जिसके बाद कैपिटल हिल पर हमला हुआ था और लोगों की जानें गई थीं.
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2019 में सीनेट ने बचाई ट्रंप की कुर्सी
प्रतिनिधि सभा ने 18 दिसंबर, 2019 को भी डोनाल्ड ट्रंप के खिलाफ महाभियोग के आरोप को पारित किया था, लेकिन रिपब्लिकन पार्टी के नियंत्रण वाले सीनेट ने फरवरी 2020 में उन्हें आरोपों से बरी कर दिया था. उस दौरान आरोप लगाए गए थे कि ट्रंप ने यूक्रेन के राष्ट्रपति पर दबाव डाला कि वे जो बाइडन और उनके बेटे के खिलाफ कथित भ्रष्टाचार के दावों की जांच करवाए. बचाव पक्ष ने महाभियोग सुनवाई के त्वरित समापन के लिए चार घंटे से भी कम का समय लिया.
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ऐसे चलता है महाभियोग ट्रायल
अमेरिकी संविधान के मुताबिक सदन के पास महाभियोग की एकमात्र शक्ति है, जबकि सीनेट के पास उस व्यक्ति के ट्रायल की एकमात्र शक्ति होता है. जिस व्यक्ति पर महाभियोग चलाया जाता है, वह राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति या संयुक्त राज्य अमेरिका का कोई भी सिविल अधिकारी हो सकता है, जिसे दो-तिहाई सीनेटरों के बहुमत से दोषी ठहराया जा सकता है. हाउस अभियोजन पक्ष के रूप में प्रबंधकों को नियुक्त करता है जो सीनेट के सामने प्रतिवादी के वकीलों के साथ उनका मामला प्रस्तुत करता है. अभियोजकों और ट्रंप की डिफेंस टीम के पास तर्क करने के लिए एक निर्धारित समय होगा और फिर सीनेटर एक अंतिम वोट से पहले लिखित रूप से कुछ सवाल भी पूछ सकते हैं.
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