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benazir bhutto and asifa bhutto Photograph: (social media)
कराची से नवाबशाह जा रहीं असीफा भुट्टो जरदारी के काफिले पर हमला हुआ है. प्रदर्शनकारियों ने उन पर लाठी-डंडों से हमला किया. हालांकि की सुरक्षाबलों ने उन्हें सुरक्षित निकाल लिया. वहीं कुछ संदिग्धों को गिरफ्तार कर लिया गया है. यह प्रदर्शनकारी कॉर्पोरेट फार्मिंग का विरोध कर रहे थे. बताया जा रहा है कि कराची से सिंध के नवाबशाह की ओर जा रहीं नेशनल असेंबली की मेंबर और पूर्व पीएम बनेजीर भुट्टों की बेटी असीफा भुट्टो जरदारी के काफिले को प्रदर्शनकारियों ने बीच सड़क पर घेर लिया था. इस दौरान नहर परियोजना का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों ने उन्हें रोकने का प्रयास किया. लाठी-डंडों से काफिले पर धावा बोल दिया. इससे हाइवे पर तनाव बढ़ गया.
कॉर्पोरेट फार्मिंग के खिलाफ विरोध
प्रदर्शनकारियों का कहना था कि वे विवादित नहर परियोजना और कॉर्पोरेट फार्मिंग के खिलाफ विरोध कर रहे थे. उन्होंने इस परियोजना को किसानों और आम जनता के हितों के विरुद्ध बताया. पुलिस के मुताबिक, इस घटना के दौरान सुरक्षा बलों और और सेना ने तत्काल कार्रवाई करते हुए असीफा जरदारी के वाहन को सुरक्षित बाहर निकाला.
मामले को लेकर FIR दर्ज की गई
स्थानीय मीडिया के अनुसार, काफिला कुछ देर के लिए रुका. इस बीच किसी तरह का नुकसान नहीं हुआ. इस मामले को लेकर FIR दर्ज की गई है. वहीं कुछ संदिग्धों को पकड़ा भी गया है. प्रशासन की ओर से चेतावनी जारी की गई है कि जो भी सार्वजनिक शांति भंग करने की कोशिश करेगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी. इस बात पर जोर दिया गया कि सुरक्षा के मामलों को गंभीरता से लिया जा रहा है.आपको बता दें कि बेनजीर भुट्टों की हत्या 27 दिसंबर, 2007 को कर दी गई थी. वे पाकिस्तान की पूर्व प्रधानमंत्री और मुस्लिम देश की पहली लोकतांत्रिक रूप से चुनी गई महिला नेता थीं. बेनजीर भुट्टो की 54 साल की उम्र में शहर रावलपिंडी में हत्या कर दी गई थी.
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