Buga Sphere Reacts on Sanskrit Mantras: आकाश से गिरा चमकीला गोला 'बूगा स्फीयर' क्या है? संस्कृत मंत्रों से करता है कंपन, वैज्ञानिक हुए हैरान

Buga Sphere Reacts on Sanskrit Mantras: संस्कृत भाषा के मंत्रों को सुनते ही एक्टिव हो जाता है यह एलियन गोला. आखिर क्या है बूगा स्फीयर (buga sphere), जिसने वैज्ञानिकों के भी होश उड़ा दिए हैं.

Buga Sphere Reacts on Sanskrit Mantras: संस्कृत भाषा के मंत्रों को सुनते ही एक्टिव हो जाता है यह एलियन गोला. आखिर क्या है बूगा स्फीयर (buga sphere), जिसने वैज्ञानिकों के भी होश उड़ा दिए हैं.

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Namrata Mohanty
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buga sphere Photograph: (buga sphere)

Buga Sphere Reacts on Sanskrit Mantras: पिछले कुछ दिनों से इंटरनेट पर वीडियोज वायरल हो रहे हैं, जिसमें एक धातु का गोला है. इस गोले को साइंटिस्टों ने बूगा स्फीयर नाम दिया है. इसे एलियन आकाशीय गोला भी कहा जा रहा है. मगर सबसे ज्यादा आश्चर्य की बात यह है कि यह गोला संस्कृत भाषा के मंत्रों से एक्टिव होने लगता है. आइए इसके बारे में जानते हैं.

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वैदिक मंत्रों से कंपन करता है गोला!

हालांकि, यह महज एक दावा है. अभी इसकी सच्चाई के बारे में और भी ज्यादा रिसर्च करना बाकी है. यह एक अजीब सा गोला है, जिसने संस्कृत के मंत्रों को सुनते ही एक तेज कंपन पैदा की थी. इसका वीडियो भी रिकॉर्ड किया गया है. वैज्ञानिकों ने बताया कि उन लोगों ने अब तक ऐसी कोई चीज पहले नहीं देखी थी. इसका रंग चांदी जैसा है, जो चमकता है. इस धातु को रहस्यमयी गोला भी कहा जा रहा है.

कहां मिला था buga sphere?

बुगा स्फीयर दक्षिणी अमेरिका के कोलंबिया में मिला था. बूगा कोलंबिया का एक शहर है, जहां 15,000 से ज्यादा लोग रहते हैं. एक दिन यहां अचानक एक घटना हुई, जिसमें आकाश से तेज गति में एक धातु का गोला शहर के खेतों में गिरा. इस गोले को गिरने से पहले 2 लोगों ने इसे आकाश में उड़ता भी देखा था. उन्होंने बताया कि यह गोला सबसे पहले बिजली के केबल से भी टकराया था. इस वजह से शहर की बत्ती गुल हो गई थी. कुछ लोगों ने इसका वीडियो भी रिकॉर्ड किया है. इसलिए, यह गोला 'बूगा स्फीयर' नाम से मशहूर हो गया.

बताया जा रहा है कि इस गोले को सबसे पहले मार्च, 2025 में देखा गया था. जब यह आकाश में उड़ रहा था, तो हवाई जहाज जैसा दिथ रहा था. मगर इसके उड़ने का तरीका थोड़ा अजीब और टेढ़ा-मेढ़ा था. इसके गिरने के तुरंत बाद ही साइंटिस्टों ने इसे अपने कब्जे में ले लिया था. अब भी इसका विश्लेषण किया जा रहा है. 

क्यों महत्वपूर्ण है बूगा स्फीयर?

साइंटिस्टों ने इसे रहस्यमयी बताया है क्योंकि अब तक की जांच में इस गोले के बारे में सब कुछ पता नहीं लग पाया है. UNAM की प्रेस कॉन्फ्रेंस में डॉ. कार्लोस मुनोज और इंजीनियर रोडोल्फो गैरिडो ने कहा था कि यह गोला कई माइक्रोचिप्स से घिरा हुआ है. माइक्रोस्कोपिक स्कैनिंग से पता लगा है कि इस गोले के अंदर फाइबर-ऑप्टिक के तार है. ये तार कहीं सिग्नल भेजती हैं और प्राप्त भी करती हैं. 

18 माइक्रोस्फीयर से घिरा है यह गोला

इस गोले में जो सबसे अजीब बात देखी गई है, वह उसकी चिप है. इस चिप में 18 माइक्रोस्फीयर्स हैं. ये स्फीयर्स कई धातुओं से घिरे हुए हैं. इसकी अजीबोगरीब संरचना के चलते ही वैज्ञानिक इसे और समझने की कोशिश में लगे हुए हैं. साथ ही यह भी पता लगाया जा रहा है कि इस गोले का संस्कृत मंत्रों के साथ क्या संबंध है और ये क्यों सिर्फ उस भाषा को सुनकर प्रतिक्रिया देता है. साइंटिस्टों के सामने इसको लेकर यह भी सवाल है कि क्या यह सच में कोई रहस्यमयी वस्तु है या फिर तकनीकी खेल का कोई अज्ञात हिस्सा है.

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