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19 लाख किसानों के खाते में 5700 करोड़ रुपए 4 किस्तों में डालेगी यह सरकार

छत्तीसगढ़ सरकार राज्य में फसल उत्पादन को प्रोत्साहित करने और किसानों को उनकी उपज का सही दाम दिलाने के लिए ‘राजीव गांधी किसान न्याय योजना’ शुरू करने का जा रही है.

Updated on: 20 May 2020, 12:50 PM

रायपुर:

छत्तीसगढ़ सरकार राज्य में फसल उत्पादन को प्रोत्साहित करने और किसानों को उनकी उपज का सही दाम दिलाने के लिए ‘राजीव गांधी किसान न्याय योजना’ शुरू करने का जा रही है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की पुण्यतिथि 21 मई के दिन वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए राज्य में इस योजना का विधिवत् शुभारंभ करेंगे. इस योजना के तहत राज्य के 19 लाख किसानों को 5700 करोड़ रूपए की राशि चार किश्तों में सीधे उनके खातों में हस्तांतरित की जाएगी.

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अधिकारियों ने बताया कि राजीव गांधी किसान न्याय योजना किसानों को खेती-किसानी के लिए प्रोत्साहित करने की देश में अपने तरह की एक बड़ी योजना है. योजना के उद्घाटन कार्यक्रम में मुख्यमंत्री सहित राज्य के मंत्रीगण, जनप्रतिनिधि और किसान वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए शामिल होंगे. उन्होंने बताया कि राज्य सरकार इस योजना के तहत खरीफ 2019 से धान तथा मक्का लगाने वाले किसानों को सहकारी समिति के माध्यम से उपार्जित मात्रा के आधार पर अधिकतम 10 हजार रूपए प्रति एकड़ की दर से सहायता राशि देगी.

इस योजना में धान फसल के लिए 18 लाख 34 हजार 834 किसानों को प्रथम किश्त के रूप में 1500 करोड़ रूपए की राशि प्रदान की जाएगी. अधिकारियों ने बताया कि इसी तरह गन्ना फसल के लिए पेराई वर्ष 2019-20 में सहकारी कारखाना द्वारा क्रय किए गए गन्ने की मात्रा के आधार पर एफआरपी राशि 261 रूपए प्रति क्विंटल और प्रोत्साहन तथा सहायता राशि 93.75 रूपए प्रति क्विंटल अर्थात अधिकतम 355 रूपए प्रति क्विंटल की दर से भुगतान किया जाएगा.

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उन्होंने बताया कि इसके तहत राज्य के 34 हजार 637 किसानों को 73 करोड़ 55 लाख रूपए चार किश्तों में मिलेगा जिसमें से प्रथम किश्त 18 करोड़ 43 लाख 21 मई को हस्तांतरित की जाएगी. इसके साथ ही छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य के भूमिहीन कृषि मजदूरों को भी 'न्याय' योजना के द्वितीय चरण में शामिल करने का फैसला किया है. राज्य के वरिष्ठ अधिकारियों ने मंगलवार को यहां बताया कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य के भूमिहीन कृषि मजदूरों को 'न्याय' योजना के द्वितीय चरण में शामिल करने का फैसला किया है. मुख्यमंत्री बघेल ने इसके लिए विस्तृत कार्ययोजना तैयार करने के लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में समिति गठित कर दी है.

यह समिति दो माह में विस्तृत कार्ययोजना का प्रस्ताव तैयार कर मंत्रिपरिषद के अनुमोदन के लिए प्रस्तुत करेगी. उन्होंने बताया कि छत्तीसगढ़ सरकार इसके साथ ही वर्ष 2018-19 में सहकारी शक्कर कारखानों के माध्यम से खरीदे गए गन्ने की मात्रा के आधार पर 50 रूपए प्रति क्विंटल की दर से प्रोत्साहन राशि (बकाया बोनस) भी प्रदान करने जा रही है. इसके तहत राज्य के 24 हजार 414 किसानों को 10 करोड़ 27 लाख रूपए दिया जाएगा.

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अधिकारियों ने बताया कि राज्य सरकार ने इस योजना के तहत खरीफ 2019 में सहकारी समिति के माध्यम से उपार्जित मक्का फसल के किसानों को भी लाभ देने का निर्णय लिया है. मक्का फसल के आंकड़े लिए जा रहे है. जिसके आधार पर आगामी किश्त में उनको भुगतान किया जाएगा. उन्होंने बताया कि राज्य सरकार ने इस योजना में खरीफ 2020 से दलहन और तिलहन को भी शामिल करने का फैसला किया है.