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ब्रह्मकुमारी की 80वीं वर्षगांठ पर बोले आडवाणी, RSS नहीं देता है गलत कामों को बढ़ावा

लालकृष्ण आडवाणी ने प्रजापिता ब्रह्मकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की 80 वीं सालगिरह के समारोह का उदघाटन किया।

Updated on: 26 Mar 2017, 06:50 PM

नई दिल्ली:

माउंटआबू में बीजेपी के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी ने प्रजापिता ब्रह्मकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की 80 वीं सालगिरह के समारोह का उदघाटन किया। इस समारोह के दौरान आडवानी ने ब्रह्माकुमारीज की  तुलना राष्ट्र स्वयं सेवक संघ से की। उन्होनें संघ के अनुशासन और शिक्षा की तारीफ की। आडवाणी ने कहा,' आरएसएस के साथ मैंने बचपन से काम किया है। ऐसी संस्था का मुझे सम्मान और गर्व है।'

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आडवाणी ने बताया,' मेरा जन्म कराची में हुआ लेकिन अनुशासन और शिक्षा आरएसएस से मिली। आडवाणी ने कहा कि आरएसएस से सीखा है कि हमें कभी भी गलत कामों को बढ़ावा नहीं देना चाहिए। हम आरएसएस के माध्यम से देश के प्रति समर्पण और समर्पण के बारे में सीखते हैं।' 

आडवाणी ने ब्रह्मकुमारी की प्रशंसा करते हुए कहा,'मैं इस संस्था के प्रारंभ से ही जुड़ा रहा हूं। मैंने अपनी आंखों से देखा है कि कैसे संस्था के संस्थापक दादा लेखराज ने ओम मंडली से इसकी शुरुआत की थी।'

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उन्होंने कहा कि मुझे यह देखकर आश्चर्य लगता है कि कैसे यह संस्था इतने कम समय में इतना विशाल संगठन बन गया है। सबसे बड़ी बात इसकी बागडोर माताओं-बहनों के हाथ में है। मैं पूरे विश्वास के साथ कह सकता हूं कि यह एकमात्र विश्व का इतना बढ़ा संगठन है, जो माताओं-बहनों द्वारा संचालित किया जाता है। यह हमारे देश के लिए, भारतीय संस्कृति के लिए गर्व की बात है।

बता दें कि कार्यक्रम का विधिवत उद्घाटन शाम को 6 बजे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए करेंगे। इस कार्यक्रम का समापन 29 मार्च को होगा।