देशभर में हो रही झमाझम बारिश ने कई राज्यों में बाढ़ जैसे हालात बना दिए हैं. दिल्ली-एनसीआर, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, ओडिशा, हिमाचल प्रदेश और पंजाब में जनजीवन अस्त-व्यस्त है. पंजाब में तो हजारों गांव डूब चुके हैं और फसलें बर्बाद हो गई हैं. मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि सितंबर में हालात और बिगड़ सकते हैं.
गुरुग्राम हुआ पानी-पानी
दिल्ली-एनसीआर में हुई तेज बारिश ने गुरुग्राम की सूरत बिगाड़ दी है. जगह-जगह सड़कों पर जलभराव हो गया है. सेक्टर-45 और राजीव चौक जैसे प्रमुख इलाकों में एक-एक फीट तक पानी भर चुका है. गाड़ियां, बसें और बाइकें पानी में फंसी नजर आ रही हैं. पटेल नगर के बाजारों में घुटनों तक पानी जमा है, जिससे लोगों को आने-जाने में काफी मुश्किलें झेलनी पड़ रही हैं.
लग्जरी गाड़ियां घरों के बाहर खड़ी-खड़ी पानी में डूब गईं. कैब ड्राइवरों और आम लोगों को जलजमाव में गाड़ी निकालने के लिए मशक्कत करनी पड़ रही है. हालात बिगड़ने पर प्रशासन ने कंपनियों को वर्क फ्रॉम होम देने का आदेश दिया है ताकि कर्मचारी सड़क पर फंसने से बच सकें.
गुरुग्राम में जलजमाव की समस्या पर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने हरियाणा सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया. पानी से भरी सड़कों पर नाव लेकर प्रदर्शनकारियों ने सरकार को विफल बताया. उनका कहना है कि खराब ड्रेनेज सिस्टम की वजह से लोगों को हर साल इस संकट का सामना करना पड़ता है.
दिल्ली में भीषण जाम
दिल्ली में भी भारी बारिश से हालात खराब हो गए हैं. वसंत विहार, आरटीआर मार्ग, साउथ एक्स और छतरपुर रोड जैसे इलाकों में सड़कों पर पानी भरने से गाड़ियों की लंबी-लंबी कतारें लग गईं. कई जगह लोग घंटों जाम में फंसे रहे. बारिश ने राजधानी की रफ्तार थाम दी है.
राजस्थान में बाढ़ का कहर
बीकानेर से आई तस्वीरें डरावनी हैं. यहां बारिश से आए सैलाब में बाइक और स्कूटी बह गईं. एक महिला भी बहने लगी लेकिन उसने रेलिंग पकड़कर अपनी जान बचा ली. पानी का तेज बहाव लोगों के लिए जानलेवा साबित हो रहा है.
उड़ीसा में रेस्क्यू ऑपरेशन
ओडिशा के मलकानगिरी जिले में एक शख्स नदी में 18 घंटे तक फंसा रहा. मजदूरी करने वाला यह व्यक्ति नदी पार कर रहा था तभी पानी अचानक बढ़ गया. स्थानीय लोग उसे बचाने में असफल रहे. बाद में एयरफोर्स की टीम ने हेलीकॉप्टर से एयरलिफ्ट कर उसकी जान बचाई.
पंजाब में तबाही का दूसरा दौर
पंजाब में हालात सबसे गंभीर हैं. रावी नदी और घग्गर नदी उफान पर हैं. अमृतसर, गुरदासपुर, तरन तारण, फिरोजपुर, पठानकोट और होशियारपुर जैसे जिलों में बाढ़ से हाहाकार मचा है. अमृतसर के अजनाला और इब्राहिमपुर गांव पूरी तरह पानी में डूब चुके हैं. हजारों एकड़ फसल बर्बाद हो चुकी है.
लोग छतों और टापुओं पर मवेशियों के साथ शरण लिए हुए हैं. सेना और NDRF की टीमें लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चला रही हैं. हेलीकॉप्टर से लोगों को सुरक्षित जगहों पर ले जाया जा रहा है.
1988 जैसी तबाही की याद
पंजाब में लोग 1988 की बाढ़ को याद कर सहम गए हैं. उस साल सितंबर में पांच गुना ज्यादा बारिश हुई थी और 600 से ज्यादा लोगों की जान गई थी. इस बार अगस्त से ही बारिश का कहर जारी है. खेत-खलिहान, घर और सड़कें सब पानी में समा गए हैं. करीब 1000 गांव डूब गए हैं और 3 लाख एकड़ फसल को नुकसान पहुंचा है.
हिमाचल का असर मैदानी इलाकों में
हिमाचल प्रदेश में लगातार बारिश और पहाड़ी नदियों के उफान का असर पंजाब और हरियाणा तक दिख रहा है. कुल्लू से आई सीसीटीवी फुटेज में रिहायशी इलाकों में पानी घुसते देखा गया. पहाड़ों से बहकर आया पानी मैदानों में तबाही मचा रहा है.
नदियां बनीं तबाही की वजह
हरियाणा-पंजाब में घग्गर नदी सबसे ज्यादा तबाही ला रही है. रविवार रात को अचानक पानी का बड़ा सैलाब आया जिसने कई गांवों को डुबो दिया. स्कूलों में 3 सितंबर तक छुट्टियां घोषित कर दी गई हैं.
देश के कई राज्यों में भारी बारिश और बाढ़ ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है. राहत और बचाव टीमें दिन-रात काम कर रही हैं लेकिन तबाही का मंजर लगातार गहराता जा रहा है.
यह भी पढ़ें- Flood in Punjab: पंजाब में 37 साल बाद आई सबसे भयानक बाढ़, तस्वीरें डरा देंगी
यह भी पढ़ें- PM Modi: सेमीकॉन इंडिया-2025 का उद्घाटन करेंगे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, 20 हजार से अधिक लोग होंगे