मुंबई (Mumbai) में सेवानिवृत्त नौसेना अधिकारी मदन शर्मा के साथ कथित तौर पर शिवसेना के गुंडों ने जिस तरह से मारपीट की उसकी निंदा पूरे देश में हो रही है. इस बीच उद्धव सरकार ने जिस तरह से आरोपियों पर मेहरबानी दिखाई है, उससे महाराष्ट्र (Maharashtra) की सियासत में और गर्माहट आ गई है. पूर्व सैनिक पर हमले करने वालों को महज 12 घंटे के अंदर ही टेबल जमानत दे दी गई. हालांकि इसके लिए कोरोना प्रोटोकॉल का पालन किया गया है. सभी 6 आरोपियों को कोविड प्रोटोकॉल के चलते 5 हजार के बांड पर जमानत दे दी गई है.
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आरोपियों को जमानत मिलने के बाद रिटायर्ड नेवी अफसर मदन शर्मा की बेटी शिला शर्मा ने देश के महामहिम रामनाथ कोविंद से महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की है. रिटायर्ड नेवी अफसर मदन शर्मा की बेटी शीला शर्मा ने कहा है कि शिवसेना के लोगों में कानून का डर बिल्कुल नहीं है.
नौसेना के पूर्व अधिकारी की बेटी ने कहा, 'एक वरिष्ठ नागरिक पर हमला किया गया है, पुलिस को पता होना चाहिए कि आरोपियों को किस धारा के तहत गिरफ्तार किया जाना चाहिए. उन्हें हत्या के आरोपों के तहत गिरफ्तार किया जाना चाहिए. यह गैर-जमानती होनी चाहिए.' उसने कहा, 'मेरे पिता को संदेश भेजने के लिए धमकियां मिलीं. शिवसेना के कई लोगों ने उस पर हमला किया. बाद में, पुलिस हमारे निवास पर आई और मेरे पिता को अपने साथ ले जाने पर जोर दिया. हमने एफआईआर दर्ज की है.'
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वहीं रिटायर्ड नेवी ऑफिसर मदन लाल, जिन्होंने आरोप लगाया कि उन्हें मुंबई में शिवसेना कार्यकर्ताओं ने पीटा. उन्होंने कहा, 'देश में सभी को अपनी बात रखने की स्वतंत्रता है. व्हाट्सएप से हम एक-दूसरे से जुड़ते हैं उसमें जो न्यूज़ आती है उसे फॉरवर्ड करते हैं. वो न्यूज़ कहां से बनता है इस पर सरकार को ध्यान देना चाहिए.' इधर, शिवसेना के गुंडों द्वारा रिटायर्ड नेवी ऑफिसर पर जानलेवा हमले के बाद अब सैनिक फेडरेशन भी महाराष्ट्र सरकार के खिलाफ सामने आ चुके हैं.