Kutch: गुजरात के कच्छ जिले में रविवार रात एक बार फिर भूकंप के झटकों से धरती हिल गई. रात करीब 9 बजकर 47 मिनट पर महसूस किए गए इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 4.0 मापी गई. भूकंप का एपिसेंटर खावड़ा से 20 किलोमीटर पूर्व-दक्षिण-पूर्व दिशा में स्थित था. हालांकि, किसी प्रकार के जानमाल के नुकसान की कोई खबर नहीं है, लेकिन स्थानीय लोगों में भय और दहशत का माहौल बना हुआ है.
पिछले तीन दिनों में तीसरा भूकंप
सबसे चिंताजनक बात यह है कि पिछले तीन दिनों में यह तीसरा भूकंप है, जिससे कच्छ में भूकंपीय गतिविधियों में तेजी देखी जा रही है. लगातार आ रहे झटकों ने न सिर्फ स्थानीय प्रशासन, बल्कि आम नागरिकों की भी चिंता बढ़ा दी है. आपदा प्रबंधन विभाग पूरे हालात पर नजर बनाए हुए है और स्थिति पर निगरानी रखी जा रही है. फिलहाल, किसी गंभीर नुकसान की पुष्टि नहीं की गई है.
विशेषज्ञों का मानना है कि कच्छ क्षेत्र भूगर्भीय रूप से संवेदनशील माना जाता है, जहां समय-समय पर हल्के से मध्यम तीव्रता के भूकंप आते रहते हैं. ऐसे में लोगों को सतर्क और तैयार रहने की सलाह दी जा रही है.
क्यों आता है भूकंप?
भूकंप आने का मुख्य कारण होता है पृथ्वी की टेक्टोनिक प्लेट्स का आपस में टकराना. जब ये प्लेट्स एक-दूसरे से टकराती हैं या खिसकती हैं, तो उनके बीच संचित ऊर्जा अचानक बाहर निकलती है. यही ऊर्जा भूकंप के रूप में धरती की सतह पर महसूस होती है.
भूकंप के पीछे चार प्रमुख कारण होते हैं:
1. टेक्टोनिक प्लेटों की गतिविधि
2. ज्वालामुखी विस्फोट
3. मानवजनित गतिविधियां (जैसे- खनन, बांध निर्माण)
4. पृथ्वी की परतों में संपीड़न और तनाव
बता दें कि साल 2001 में आए विनाशकारी भुज भूकंप की वजह से कच्छ को देश के सबसे संवेदनशील क्षेत्रों में गिना जाता है. ऐसे में प्रशासन और नागरिकों को भूकंप सुरक्षा उपायों को लेकर जागरूक रहना जरूरी है.
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