logo-image

क्या है ये Bomb Shelter? रूस से लेकर यूक्रेन तक क्यों है इसकी इतनी चर्चा

भारतीयों का यूक्रेन से वापस आना भी जारी है. इसी बीच भारतीय दूतावास ने भारतीयों के लिए दिशानिर्देश जारी किए जिसमे कहा गया कि वे हमले के सायरन सुने तो पास के बॉम्ब शेलटर्स (Bomb Shelters) की तलाश गूगल मैप से करें.

Updated on: 25 Feb 2022, 12:09 PM

New Delhi:

रूस( Russia) के यूक्रेन ( Ukraine) पर हमले (Russian Attacks on Ukraine) थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. यूक्रेन की राजधानी कीव (Kyiv) में सायरन की आवाज सुनाई दे रही है. हमले यूक्रेन के कई इलाकों में सैन्य ठिकानों पर हो रहे हैं. भारतीयों का यूक्रेन से वापस आना भी जारी है. इसी बीच भारतीय दूतावास ने भारतीयों के लिए दिशानिर्देश जारी किए जिसमे कहा गया कि वे हमले के सायरन सुने तो पास के बॉम्ब शेलटर्स (Bomb Shelters) की तलाश गूगल मैप से करें. वहां जाकर वो रह सकते हैं. तो आइए जानते हैं क्या है ये बॉम्ब शेल्टर. 

यह भी पढ़ें- क्या रूस के सामने टिक पाएगा यूक्रेन, आइए जानते हैं दोनों सेनाओं की क्षमता

क्या होते हैं बॉम्ब शेल्टर्स-

बॉम्ब शेल्टर्स एक बंद जगह होती है जिसे लोगों को बम और मिसाइल जैसे विस्फोटक हथियारों के प्रभाव से बचाने के लिए बनाया जाता है. यहां रहकर लोग अपनी जान बचा सकते हैं. यह सामान्यतया ऐसा कमरा होता है जो अंडरग्राउंड होता है, इसे असल में बम के प्रभावों से बचाने के लिए खास डिजाइन किया जाता है जो हवाई हमले के दौरान एक सेफ जगह रहने के लिए इस्तेमाल किया जाता है. 

क्या होता है यहां पर-

 बॉम्ब शेल्टर में कई विशेष सुविधाएं होती हैं जैसे पीने का पानी, पैकेट बंद भोजन, आपातकालीन दवाएं, इमरजेंसी फ्लैश लाइट या टॉर्च, अतिरिक्त बैटरी, आदि ऐसी जगह पर कम से कम तीन दिन की जरूरतों के लिए इस तरह के सामान रखें जाते हैं. 

कीव में कौन सी जगह-

लेकिन हर जगह या शहर में औपचारिक तौर पर बॉम्ब शेल्टर नहीं हैं. शहर में कई ऐसी जगह भी होती हैं जो जरूरत पड़ने पर बॉम्ब शेल्टर का काम दे सकती हैं या बॉम्ब शेल्टर की तरह इस्तेमाल में लाई जा सकती है. फिलहाल कीव के मैट्रो स्टेशन इसी काम के लिए उपयोग में लाए जा रहे हैं. इतना नहीं फ्लाई ओवर के नीचे के हिस्से वाले किनारे भी कई बार बॉम्ब शेल्टर की तरह इस्तेमाल किये जाते हैं. 

कीव की जनता को खतरा-

जहां एक ओर रूस ने यह आश्वसन दिया है कि उसकी सेना सैन्य ठिकानों पर ही हमला कर रही है वहां के नागरिकों को कोई खतरा नहीं है. लेकिन यूक्रेन की जनता खतरा पहचान रही है. कीव के लोग शहर के अंडरग्राउंड मेट्रो स्टेशन का सहारा ले रहे हैं. यह मेट्रो नेटवर्क देश का सबसे पुराना और सबसे बड़ा अंडरग्राउंड नेटवर्क है जिसके सिस्टम पहले से ही बॉम्ब शेल्टर की तरह हैं और इस्तेमाल में लाए जाते हैं. 

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सरकार ने यूक्रेन में फंसे हुए भारतीय छात्रों की मदद के लिए भारत सरकार ने 24 घंटे हेल्पालाइन नंबर की शुरुआत की है. इसके लिए दिल्ली में कंट्रोल रूम सेट किया है. सरकार की तरफ से +911123012113, +911123914104, +911123017905 और 1800118797 नंबर जारी किए गए हैं.

यह भी पढ़ें- रूस पर अमेरिका थोप रहा प्रतिबंध, चीन ने राहत दे गेंहू आयात बहाल किया