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कोरोना संकट के बीच कैसे होगा मॉनसून सत्र, नायडू ने की समीक्षा

राज्य सभा के सभापति एम वेंकैया नायडू ने कोरोना वायरस वैश्विक महामारी के मद्देनजर संसद के मानसून सत्र के दौरान सांसदों के बैठने की व्यवस्था और उनकी भागीदारी की समीक्षा की

Updated on: 09 Jul 2020, 07:08 AM

दिल्ली:

राज्य सभा के सभापति एम वेंकैया नायडू ने कोरोना वायरस वैश्विक महामारी के मद्देनजर संसद के मानसून सत्र के दौरान सांसदों के बैठने की व्यवस्था और उनकी भागीदारी की समीक्षा की. सूत्रों ने बताया कि राज्यसभा के महासचिव और वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक घंटे चली बैठक में नायडू ने बैठने के प्रबंध की योजना पर चर्चा की. उन्होंने बताया कि जल्द ही नायडू और लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला के बीच बातचीत के बाद सदस्यों की ऑनलाइन भागीदारी समेत कई बातों पर फैसला किया जाएगा.

बुधवार को हुई बैठक में मीडिया गैलरी में भी सामाजिक दूरी के नियम की पालना सुनिश्चित करने का फैसला किया गया. आगामी कुछ दिन में राज्यसभा की विभाग संबंधी संसदीय स्थायी समितियों की बैठकों से पहले कोरम की अनिवार्यता संबंधी मामलों और बैठकों में भाग लेने वाले सदस्यों के लिए भत्तों पर चर्चा की गई.

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बता दें, इससे पहले बताया जा रहा था कि मोदी सरकार (Modi Government) अगस्त के अंतिम सप्ताह या सितंबर के पहले हफ्ते से संसद का मानसून सत्र (Monsoon session) चलाने पर विचार कर रही है. मॉनसून सत्र के कार्यवाही के दौरान पार्लियामेंट सदस्य उपस्थित हों इसकी संभावना पर सरकार विचार कर रही है. हालांकि इसपर कोई अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है.

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मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो कोरोना वायरस (Coronavirus) के बढ़ते मामलों को देखते हुए अभी तक कोई अंतिम फैसला नहीं लिया गया है. सामाजिक दूरी के मानदंडों का पालन करते हुए कैसे सत्र आयोजित किया जाए उसपर चर्चा की जा रही है. सरकार के सूत्रों ने कहा कि सत्र की अवधि और इसके आयोजन का तरीका सत्र की शुरुआत के समय मौजूदा स्थिति पर निर्भर करेंगे. हालांकि, सरकार का इरादा पूर्ण सत्र आयोजित करने का है.