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भारत में बर्बाद हो रही है COVID-19 Vaccine की डोज, जानें क्या है वजह

पूरी दुनिया में कोरोना वायरस के कहर के बाद अब वैक्सीनेशन का काम तेजी से चल रहा है. भारत में भी वैक्सीनेशन का काम बहुत तेजी से चल रहा है. भारत में 16 जनवरी से कोरोना वायरस महामारी के खिलाफ टीकाकरण अभियान शुरू कर दिया गया है. 

Updated on: 21 Jan 2021, 02:13 PM

नई दिल्ली :

Covid 19 Vaccination Update: पूरी दुनिया में कोरोना वायरस के कहर के बाद अब वैक्सीनेशन का काम तेजी से चल रहा है. भारत में भी वैक्सीनेशन का काम बहुत तेजी से चल रहा है. भारत में 16 जनवरी से कोरोना वायरस महामारी के खिलाफ टीकाकरण अभियान शुरू कर दिया गया है.  देश में अभी तक लगभग 7 लाख लोगों को कोरोना वैक्सीन लगा दी गई है. वहीं देश में कई जगहों से कोरोना वैक्सीन की डोज खराब होने की खबरें में भी मीडिया में आईं हैं. टीकाकरण के चौथे दिन बुधवार तक कई राज्यों में वैक्सीन के डोज बर्बाद हो जाने की खबरें सामने आई है.

बुधवार को देश के 6 राज्यों के अधिकारियों ने मीडिया से बातचीत में बताया कि कोरोनोवायरस के टीके की बहुत सी डोज बेकार हो जा रही है क्योंकि वैक्सीन लगाने के लिए हुए रजिस्ट्रेशन के मुकाबले काफी कम संख्या में लोग वैक्सीनेशन सेंटर पर पहुंच रहे हैं. उन्होंने आगे कहा कि अभी भी लोगों में वैक्सीन को लेकर एक अजीब तरह की हिचकिचाहट है. अधिकारियों का कहना है कि ऐसे ही चलता रहा तो भारी मात्रा में कोरोना वैक्सीन के स्टॉक खराब हो सकते हैं.

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एक वैक्सीन की शीशी में 10 डोज
आपको बता दें कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, वैक्सीन की एक शीशी खुलने के बाद 10 लोगों को कोरोना की डोज दी जा सकती है. कोरोना वायरस की ये डोज खुलने के कुछ समय तक ही प्रभावी रहती है अगर उस समय वैक्सीन लेने वाले लोग मौजूद ना हों तो ये खराब हो जाती है. इसी वजह से वैक्सीनेशन सेंटर पर आपेक्षित संख्या में लोगों के नहीं पहुंच पाने से वैक्सीन की डोज बर्बाद हो रही है. वैक्सीन की शीशियां खोले जाने के महज 4 घंटे तक ही असरदार होती हैं अगर आपने इसका उपयोग खुलने के 4 घंटे के भीतर नहीं कर लिया तो ये खराब हो जाती हैं.

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55 फीसदी लोग ही पहुंच रहे हैं वैक्सीनेशन सेंटर
आपको बता दें कि देश में वैक्सीनेशन के लिए बने सेंटरों पर रोजाना 100 लोगों को टीकाकरण के लिए बुलाया जा रहा है. जानकारी के मुताबिक इस सेंटरों पर लोगों के पहुंचने की संख्या 55 फीसदी ही है. वहीं हर सेंटरों पर औसतन टीका लगवाने 45 लोग नहीं जा रहे हैं. बिहार, हरियाणा, महाराष्ट्र, तमिलनाडु और असम के अधिकारियों ने बताया कि लोगों के वैक्सीनेशन सेंटर नहीं पहुंच पाने की वजह से वैक्सीन की खुराकें बर्बाद हो रही हैं. वहीं बुधवार को शाम 6 बजे तक केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक 16 जनवरी के बाद से देश में 786,842 लोगों को टीका लगाया जा चुका है.