केंद्र सरकार के लिए अच्छी खबर! 8 महीनों में पहली बार 1 लाख करोड़ पार GST कलेक्शन
जीएसटी रिटर्न ( GST Returns) फाइल करने से अक्टूबर में GST कलेक्शन एक लाख करोड़ रुपये से अधिक हो सकता है. इसकी फाइलिंग करदाता GST फॉर्म नंबर 3 B (GSTR-3B) के माध्यम से करेंगे.
नई दिल्ली:
कोरोना वायरस की वजह से देश में लॉकडाउन लगा था. देश के ऑनलॉक होते ही देश में आर्थिक गतिविधियों में तेजी आई है और कारोबार सामान्य हो रहा है. वहीं, इस बीच पिछले 8 महीनों में पहली बार वस्तु एवं सेवार संग्रह एक लाख करोड़ रुपये से अधिक होने की उम्मीद है. जीएसटी (GST) से जुड़े अधिकारियों ने कहा कि इस बार जीएसटी (GST) कलेक्शन (GST Collections) एक लाख करोड़ रुपये से अधिक हो सकता है. दरअसल, जीएसटी (GST) को आर्थिक स्वास्थ्य का बैरोमीटर माना जाता है. जीएसटी (GST) कलेक्शन को लेकर उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार, यह अनुमान लगाया जा रहा है कि अब GST में बढ़ोतरी की उम्मीद है.
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अधिकारियों बताया कि जीएसटी रिटर्न ( GST Returns) फाइल करने से अक्टूबर में GST कलेक्शन एक लाख करोड़ रुपये से अधिक हो सकता है. इसकी फाइलिंग करदाता GST फॉर्म नंबर 3 B (GSTR-3B) के माध्यम से करेंगे. वहीं, पिछले साल इस समय 1.1 मिलियन से अधिक जीएसटीआर -3 बी रिटर्न (GSTR-3B Returns) दाखिल किए गए थे, जो इस साल 4 अक्टूबर तक 485,000 की तुलना में अधिक है. साथ ही पिछले महीने की रिटर्न दाखिल करने की अंतिम तारिख 20 अक्टूबर रखी गई है. जीएसटी कलेक्शन में उछाल आने से केंद्र सरकार के लिए बहुत अच्छी न्यूज है, क्योंकि सरकार राज्यों की 2.35 लाख रुपये की GST भरपाई के लिए 1.1 लाख करोड़ रुपये का लोन ले रही है.
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बता दें कि कोरोना महामारी की वजह से 25 मार्च से देशभर में लॉकडाउन लागू कर दिया गया था. यह 68 दिनों तक चला था. इस लॉकडाउन की वजह से निर्माण क्षेत्र में सेवा क्षेत्र में काफी गंभीर असर पड़ा था, क्योंकि सभी सेवाएं अस्थायी रूप से बंद हो गई. केंद्र सरकार ने 16 राज्यों एवं दो केंद्र शासित प्रदेशों को GST क्षतिपूर्ति की पहली किस्त के रूप में कर्ज लेकर 6,000 करोड़ रुपये ट्रांसफर किए हैं. वित्त मंत्रालय ने शुक्रवार को यह जानकारी दी. पिछले सप्ताह केंद्र ने GST क्षतिपूर्ति को लेकर विपक्षी दलों द्वारा शासित राज्यों की मांग को स्वीकार कर लिया था.
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बता दें कि वित्त मंत्रालय ने कहा था कि केंद्र, राज्यों को GST में 1.1 लाख करोड़ रुपये की कमी की क्षतिपूर्ति के लिए बाजार से किस्तों में कर्ज उठाएगा. भारत सरकार ने 2020-21 में GST कलेक्शन में कमी को पूरा करने के लिये विशेष कर्ज की व्यवस्था की है. कुल 21 राज्यों और दो केंद्र शासित प्रदेशों ने इस व्यवस्था का विकल्प चुना है.
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