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MSME के बाद आज किसानों को खुशखबरी दे सकती हैं वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण

पहले दिन MSME को राहत देने के बाद आज कृषि क्षेत्र (Agriculture Sector) के लिए राहत पैकेज का ऐलान किया जा सकता है. इसमें कर्ज़माफी, किसान सम्मान निधि और कृषि से जुड़े कल-कारखानों के लिए राहत पैकेज की घोषणा हो सकती है.

Updated on: 14 May 2020, 08:42 AM

नई दिल्ली:

20 लाख करोड़ के राहत पैकेज के दूसरे चरण में आज वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) किसानों को खुशखबरी दे सकती हैं. सूत्रों का कहना है कि पहले दिन MSME को राहत देने के बाद आज कृषि क्षेत्र (Agriculture Sector) के लिए राहत पैकेज का ऐलान किया जा सकता है. इसमें कर्ज़माफी, किसान सम्मान निधि और कृषि से जुड़े कल-कारखानों के लिए राहत पैकेज की घोषणा हो सकती है. वहीं सप्लाई चेन को दुरुस्‍त करने के लिए भी ठोस कदम उठाए जा सकते हैं. कल की तरह आज भी शाम 4 बजे वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण प्रेस कांफ्रेंस कर इसकी जानकारी देंगीं.

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को राष्‍ट्र के नाम संबोधन में 20 लाख करोड़ रुपये के राहत पैकेज का ऐलान किया था. बुधवार को वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण ने राहत पैकेज के पहले चरण का ऐलान करते हुए कहा, MSME देश की रीढ़ है. 12 करोड़ लोगों को यह सेक्टर रोजगार देता है. इस सेक्टर को राहत पैकेज में से 3 लाख करोड़ का लोन दिया जाएगा, इसका समय-सीमा चार वर्ष का होगा और 12 माह तक मूलधन नहीं चुकाना होगा. MSME के लिए 20 हजार करोड़ का प्रावधान किया गया है. इससे दो लाख से ज्यादा तनाव वाली MSME को लाभ होगा.

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वित्तमंत्री ने आगे कहा कि हम पांच अहम बातों पर काम करेंगे- इकोनॉकी, इंफ्रास्ट्रकचर, डिमांड, डेमोक्रेसी और ट्रिपल एल यानी (लैंड, लेबर और लिक्विडिटी) पर आधारित होगी. वित्त मंत्री बोलीं, लोकल ब्रैंड को प्रोत्साहन देकर ग्लोबल बनाने पर जोर होगा. लॉकडॉउन के दौरान डीबीटी से लोगों के खाते में पैसा भेजा गया. मोबाइल तकनीक का प्रयोग किया गया है.

वित्त मंत्री ने कहा, पावर रिफॉर्म के चलते हम आत्मनिर्भर हो गए हैं. अब हमारे पर ज्यादा पावर है. आत्मनिर्भर भारत का मतलब स्वदेशी क्षमता का विकास करना है. लोगों के खाते में सीधे पैसे पहुंच रहे हैं. देश में फार्मा कंपनियों का उत्पादन बढ़ाना है. लोकल ब्रांड को ग्लोबल ब्रांड बनाना है.

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निर्मला सीतारमण ने ऐलान किया है कि जून, जुलाई और अगस्त का भी ईपीएफ सरकार की ओर से दिया जाएगा. इसके अलावा प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के तहत 3 महीने के लिए कर्मचारियों और एम्प्लायर का ईपीएफ योगदान सरकार दे रही थी. इस पर सरकार 2500 करोड़ रुपये खर्च करेगी. वित्त मंत्री ने कहा कि 3,67,000 ऐसी संस्थाओं के 72,22,000 ऐसे कर्मचारियों को इसका लाभ मिलेगा.