Economic Survey 2025: बजट सत्र का आज यानी शुक्रवार से आगाज हो गया. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण एक फरवरी को केंद्रीय बजट पेश करेंगी. यह बजट फाइनेंशियल ईयर 2025-26 के लिए होगा. उससे एक दिन पहले यानी आज वित्त मंत्री सीतारमण ने संसद में इकोनॉमिक सर्वे पेश किया. इसमें वित्त वर्ष 2025-26 में भारत की जीडीपी 6.3-6.8 के बीच रहने का अनुमान जताया गया है. इसके अलावा आर्थिक सर्वेक्षण 2025 में सोने, चांदी और कच्चे तेल समेत अन्य चीजों पर क्या पूर्वानुमान जताया है. आइए इकोनॉमिक सर्वे 2025 की बड़ी बातें जानते हैं.
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इकोनॉमिक सर्वे एक वित्तीय दस्तावेज होता है. इसे मुख्य आर्थिक सलाहकार की अगुवाई में अर्थशास्त्रियों की एक टीम तैयार करती है. इसमें एग्रीकल्चर, इंडस्ट्री, इंडस्ट्रियल प्रॉडक्शन, महंगाई और रोजगार समेत अन्य महत्वपूर्ण आंकड़ों के आधार पर तैयार किया जाता है. आसान भाषा में समझते हैं तो इसमें देश के आर्थिक विकास की समीक्षा की जाती है. संसद में इकोनॉमिक सर्वे 2025 को पेश करते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इसकी कई जरूरी बातों को देश के सामने रखा.
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इकोनॉमिक सर्वे 2025 की बड़ी बातें
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2047 तक विकसित भारत बनने के लिए 20 साल तक 8 फीसदी की ग्रोथ चाहिए. देश इस दिशा में अग्रसर है.
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2024-25 में 10 जनवरी तक MGNREGS के तहत लगभग 220.11 करोड़ व्यक्ति दिवसों का रोजगार सृजित किया गया है.
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सरकारी खर्च में बढ़ोतरी के चलते सीमेंट और इस्पात उद्योग में आने वाले वित्तीय वर्ष में सुधार आने की उम्मीद जताई गई है.
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2025 में सोने की कीमतों में गिरावट जबकि चांदी की कीमतों में बढ़ोतरी होने की उम्मीदें जताई गई हैं.
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आर्थिक सर्वेक्षण जारी होने के बाद मुख्य आर्थिक सलाहकार ने कहा, ‘हम कच्चे तेल पर कोई अनुमान नहीं लगाते हैं.
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