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कोरोना वैक्सीन: मॉडर्ना और फाइजर के बाद अब सीरम इंस्टीट्यूट ने की जवाबदेही से छूट की मांग

विदेशी कोरोना वैक्सीन मॉडर्ना और फाइजर को देश में इस्तेमाल के लिए नियमों में छूट दिए जाने के बाद अब सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने भी अपने लिए राहत मांगी है.

News Nation Bureau
| Edited By :
03 Jun 2021, 12:49:09 PM (IST)

नई दिल्ली:

विदेशी कोरोना वैक्सीन मॉडर्ना और फाइजर को देश में इस्तेमाल के लिए नियमों में छूट दिए जाने की संभावनाओं के बीच अब सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने भी अपने लिए राहत मांगी है. अभी तक देश में मॉडर्ना या फाइजर वैक्सीन को मंजूरी नहीं दी गई, मगर संकट के दौर में इन टीकों के इन्डेमनिट बौड को लेकर सरकार ने नरमी दिखाई. जिसके बाद अब सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने भी जवाबदेही से छूट की मांग की है. समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार, गुरुवार को सूत्रों ने इसकी जानकारी दी है. 

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बता दें कि सीरम इंस्टीट्यूट ने कोविशील्ड वैक्सीन का निर्माण किया है. एएनआई के अनुसार, सूत्रों ने बताया कि सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया समेत अन्य वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों ने अपील की है कि अगर विदेशी कंपनियों को ये सुविधा मिल रही है तो उन्हें भी सरकार द्वारा संरक्षण दिया जाना चाहिए.

Not just Serum Institute of India (SII), all the vaccine companies should get indemnity protection against liabilities if foreign companies are granted the same: Sources#COVID19 https://t.co/5AhaIjegyu

— ANI (@ANI) June 3, 2021

गौरतलब है कि देश इस वक्त कोरोना महामारी की चपेट में बुरी तरह से फंसा है. हर रोज लाखों संक्रमिते और हजारों मौते देखने को मिल रही हैं. एक साल से अधिक वक्त होने के बाद भी महामारी को काबू में नहीं किया जा सका है. स्वास्थ्य विशेषज्ञ वायरस के खात्मे के लिए जल्द से जल्द टीकाकरण करने पर जोर दे रहे हैं. कोरोना महामारी से लड़ने में टीकाकरण को मजबूत हथियार माना जा रहा है. इसी वजह से भारत में बड़े स्तर पर वैक्सीनेशन अभियान चलाया जा रहा है. देश में वैक्सीन की कमी पड़ने के बाद विदेशों से भी वैक्सीन मंगाई जा रही है. 

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बताया जाता है कि भारत में मॉडर्ना या फाइजर की सबसे बड़ी परेशानी वैक्सीन से होने वाली साइड इफेक्ट्स को लेकर जवाबदेही और हर्जाना है. इसी पर सबसे बड़ा पेंच फंसा हुआ था, जिसकी वजह से वैक्सीन बनाने वाली विदेशी कंपनियां भारत में वैक्सीन का दायरा बढ़ाने में संकोच कर रही थीं.

हालांकि बताया जाता है कि विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर के विदेशी दौरे के बाद कंपनियों से विस्तार से चर्चा की गई. जिसके बाद कहा गया इस मसले पर सरकार का रुख पहले से नरम पड़ा है. इसी के तहत अब वैक्सीन कोविशील्ड बनाने वाली कंपनी सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने अपने टीके से जुड़ी प्रतिकूल घटनाओं के मामले में किसी भी क्षतिपूर्ति या मुआवजे के दावों से कानूनी सुरक्षा की मांग की है.