ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी ने अपने 800 साल पुराने लैटिन कार्यक्रम में कुछ बदलाव करने की तैयारी में है. ये फैसला यूनिवर्सिटी ने नॉन बाइनरी छात्रों के लाभ के लिए किया है. यूनिवर्सिटी ने फैसला किया है कि छात्रों को डिग्री देते वक्त अब न्यूट्रल जेंडर भाषा का इस्तेमाल किया जाएगा.
अप्रैल में शिक्षक करेंगे मतदान
द टेलीग्राफ की रिपोर्ट में कहा गया कि 29 अप्रैल को विश्वविद्यालय के शिक्षक वोट करेंगे. वोटिंग के दौरान, अगर फैसले को बहुमत मिलता है तो अक्टूबर से सभी कार्यक्रमों में ये नियम लागू हो जाएगा. फैसले के अनुसार, बदलाव होने के बाद लैटिन बधाई संदेशों से उन शब्दों को हटाना होगा, जिसमें स्त्रीलिंग या पुल्लिंग का भाव आता हो या फिर जो जेंडर को परिभाषित करता होगा.
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ऐसे शब्दों का होगा इस्तेमाल
पुरुष छात्रों को मैजिस्ट्री कहने की बजाए अब वोस कहा जाएगा, इस मतलब आप होता है. डॉक्टरेस शब्द को भी बदला जाएगा. कौन शब्द को भी एक न्यूट्रल शब्द से बदला जाएगा. सिर्फ कार्यक्रमों और समारोह ही नहीं बल्कि अन्य औपचारिक कार्यक्रमों में भी न्यूट्रल-जेंडर भाषा का इस्तेमाल किया जाएगा.
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ब्रिटेन में नई सरकार के आने के बाद से बदलाव
बता दें, ब्रिटेन में लेबर पार्टी ने जब से सरकार बनाई है, तभी से न्यूट्रल जेंडर भाषा को लागू करने का दबाव बढ़ गया है. बता दें, इससे पहले नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ एंड केयर एक्सीलेंस ने एक दिशानिर्देश जारी किए हैं. इसके अनुसार, नेशनल हेल्थ सर्विस के कर्मचारियों को मोटे लोगों को मोटा न कहने के लिए कहा गया है.
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