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दुश्मनों को चित करने कल से भारत-अमेरिका के सैनिक करेंगे युद्धाभ्यास

भारत और अमेरिका अलास्का के 15 अक्टूबर से Elmendorf-Richardson बेस पर ज्वाइंट मिलिट्री एक्सरसाइज 'युद्ध अभ्यास' करेंगे. यह युद्ध अभ्यास भारत और अमेरिका के बीच रक्षा सहयोग को और मजबूत बनाने की है.

Updated on: 14 Oct 2021, 01:26 PM

highlights

  • भारतीय सेना की टुकड़ी में 350 कर्मी होंगे शामिल
  • दोनों देशों के बीच रक्षा सहयोग को और मजबूत बनाना है
  • ठंडी जलवायु में संयुक्त शस्त्र युद्धाभ्यास पर ध्यान केंद्रित

नई दिल्ली:

भारत और अमेरिका अलास्का के 15 अक्टूबर से Elmendorf-Richardson बेस पर ज्वाइंट मिलिट्री एक्सरसाइज 'युद्ध अभ्यास' करेंगे. यह युद्ध अभ्यास भारत और अमेरिका के बीच रक्षा सहयोग को और मजबूत बनाने की है. अभ्यास में भाग लेने वाली पैदल सेना बटालियन समूह के भारतीय सेना की टुकड़ी में 350 कर्मी शामिल होंगे. इस संयुक्त अभ्यास के दौरान ठंडी जलवायु में संयुक्त शस्त्र युद्धाभ्यास पर दोनों सेनाओं द्वारा ध्यान केंद्रित किया जाएगा. साथ ही रणनीतिक युद्ध अभ्यास और सामरिक स्तर के अभ्यासों को साझा करना इस अभ्यास का प्रमुख केंद्र बिंदु होगा.

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“रक्षा मंत्रालय के एक बयान में कहा गया है कि भारत और अमेरिका के बीच संयुक्त अभ्यास का यह 17वां संस्करण है जो दोनों देशों के बीच बारी-बारी से मेजबानी की गई है. यह अभ्यास दोनों देशों के बीच बढ़ते सैन्य सहयोग में एक और बड़ा कदम है. अभ्यास का समापन 48 घंटे पूरा करने के बाद 29 अक्टूबर को होगा. इस अभ्यास का उद्देश्य दोनों देशों के सेनाओं के बीच समझ, सहयोग और अंतःक्रियाशीलता को बढ़ाना है. संयुक्त अभ्यास दोनों देशों के बीच बारी-बारी से आयोजित किया जाता है. इससे पहले इसी साल फरवरी महीने में युद्ध एक्सरसाइज का एक और संस्करण राजस्थान के बीकानेर में महाजन फील्ड फायरिंग रेंज में आयोजित किया गया था. वहीं वर्ष 2018 में भारत और अमेरिका के बीच रक्षा क्षेत्र में सहयोग के रूप में संयुक्त सैन्य अभ्यास “युद्ध अभ्यास 2018” उत्तराखंड के चौबटिया में 16 सितंबर से 29 सितंबर 2018 तक आयोजित किया गया था. दोनों देशों के बीच यह 14 वां संयुक्त सैन्य अभ्यास था.