बुका में जघन्य हत्या की स्वतंत्र और निष्पक्ष जांच चुनौतीपूर्ण है-रूसी दूतावास

इस बात के सबूत हैं कि वास्तव में एक सनकी झूठा झंडा ऑपरेशन, जिसे कीव ने ही अंजाम दिया था. जब हम न्याय चाहते हैं तो इस सबूत को ध्यान में रखना बेहद जरूरी है.

इस बात के सबूत हैं कि वास्तव में एक सनकी झूठा झंडा ऑपरेशन, जिसे कीव ने ही अंजाम दिया था. जब हम न्याय चाहते हैं तो इस सबूत को ध्यान में रखना बेहद जरूरी है.

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Pradeep Singh
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attack in Bucha

यूक्रेन में युद्ध( Photo Credit : news nation)

बुका में जघन्य हत्या की दुनिया भर में निंदा हो रही है. रूस और यूक्रेन दोनों इसके लिए एक दूसरे को जिम्मेदार ठहरा रहे है. सैटेलाइट छवियों में यूक्रेन के एक चर्च के मैदान में खोदी गई 45 फुट लंबी खाई दिखाई देती है, जहां रूसी सेना के बुचा शहर से हटने के बाद इस सप्ताह एक सामूहिक कब्र मिली थी. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक राजधानी कीव से 37 किमी (23 मील) उत्तर-पश्चिम में शहर की सड़कों पर शव पड़े हुए देखे. एक चर्च में एक सामूहिक कब्र अभी भी खुली हुई थी, जिसके ऊपर हाथ और पैर लाल मिट्टी के ढेर से गुजरते थे. कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने यूक्रेन के बुचा शहर में नागरिकों की “घृणित और भयावह” हत्याओं की रविवार को निंदा करते हुए कहा कि रूस को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए.

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भारत में रूसी दूतावास ने एक बयान जारी कर कहा कि, "अफसोस की बात है कि मॉस्को के खिलाफ अब तक बड़े पैमाने पर खोखले आरोप लगे हैं, जबकि इस बात के सबूत हैं कि वास्तव में एक सनकी झूठा झंडा ऑपरेशन, जिसे कीव ने ही अंजाम दिया था. जब हम न्याय चाहते हैं तो इस सबूत को ध्यान में रखना बेहद जरूरी है." 

भारत में रूसी दूतावास ने कहा कि रूस इस अपमानजनक युद्ध अपराध अधिनियम में शामिल लोगों को न्याय के कटघरे में लाने के लिए दृढ़ता से खड़ा है. मुख्य चुनौती वास्तव में स्वतंत्र और निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करना है.

भारत में रूसी दूतावास ने कहा कि बुका में जघन्य हमला द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान नाजी अपराधों के बुरे सपने को वापस लाता है. इसने रूस और भारत में और विश्व स्तर पर घृणा और निंदा को जन्म दिया.

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