Vaishno Devi Landslide: वैष्णो देवी भूस्खलन की दर्दनाक कहानियां, अब भी सदमें में है कई परिवार

Vaishno Devi Landslide: माता वैष्णोदेवी मंदिर मार्ग पर बीते दिनों हुए भूस्खलन में 30 से ज्यादा लोगों की जान चली गई. कई परिवार अपनों को खोना के गम में डूबे हुए हैं. देखें न्यूज नेशन की ये खास रिपोर्ट...

Vaishno Devi Landslide: माता वैष्णोदेवी मंदिर मार्ग पर बीते दिनों हुए भूस्खलन में 30 से ज्यादा लोगों की जान चली गई. कई परिवार अपनों को खोना के गम में डूबे हुए हैं. देखें न्यूज नेशन की ये खास रिपोर्ट...

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Suhel Khan
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Vaishno Devi Landslide: जम्मू-कश्मीर इनदिनों कुदरत की मार झेल रहा है. भारी बारिश, बादल फटने और बाढ़ की घटनाओं में राज्य में दर्जनों लोगों की जान चुका है. पिछले दिनों माता वैष्णो देवी मार्ग पर भी भूस्खलन हुआ था. जिसमें 30 से ज्यादा लोगों की जान गई थी. अपने परिजनों को गंवाने वाले लोग अब भी उनके गम में डूबे हुए हैं. जो ताउम्र उन्हें सताता रहे हैं. ऐसे तमाम परिवार है जो इस प्राकृतिक आपदा में अपनों को खोने के बाद गम में डूबे हुए हैं.

मंगलवार को हुआ था भारी भूस्खलन

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बता दें कि जम्मू कश्मीर के रियासी जिले में माता वैष्णो देवी मंदिर जाने वाले तीर्थ मार्ग पर मंगलवार को भयानक भूस्खलन हुआ था. इस घटना ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया था. इस दर्दनाक हादसे में 30 से ज्यादा लोगों की जान गई थी.

माता वैष्णो देवी भूस्खलन में अपनों को खोने का दर्द

इनमें से बिहार के भी कई लोग शामिल थे. बिहार के समस्तीपुर के पांच लोगों की इस हादसे में मौत हो गई. कल्याणपुर प्रखंड के झूरी गांव के रहने वाले 65 साल के चंद्रदीप राय गहरे सदमे में हैं. उनकी 15 साल की पोती तन्नू अब इस दुनिया में नहीं रही. चंद्रदीप राय बताते हैं कि उनका बेटा मनोहर राय गाजियाबाद में प्राइवेट नौकरी करता है और पिछले करीब 10 सालों से वहीं अपने परिवार के साथ रह रहा है. बताया जा रहा है कि कुछ महीने  पहले उसने अपनी मां को भी अपने पास बुला लिया था.

20 अगस्त को मनोहर ने अपने पिता को कॉल कर बताया कि वह अपनी बेटी तन्नू अपने साडू राजा और उनकी पत्नी पिंकी उनके दो बच्चों और भाई अजय कुमार के साथ वैष्णो देवी मंदिर के दर्शन के लिए जम्मू जा रहा है. पोती तन्नू ने दादा को भी साथ चलने को कहा लेकिन तबीयत खराब होने की वजह से चंद्रदीप नहीं जा सके. उन्होंने कहा कि उस समय उन्हें क्या पता था कि पोती से आखिरी बात होगी. 26 अगस्त को जब वैष्णो देवी के रास्ते अर्धकुमारी के पास लैंडस्लाइड की खबरें आने लगी तो परिवार को चिंता हुई.

अगले दिन सोशल मीडिया पर तन्नू की एक तस्वीर सामने आई जिससे अंदाजा हुआ कि कुछ अनहोनी हुई है. जब तक उनके रिश्तेदारों को गाजियाबाद में फोन किया गया तब तक वहां भी किसी को कोई पक्की जानकारी नहीं थी. फिर 28 अगस्त को यह पुष्टि हो गई कि भूस्खलन में तन्नू की मौत हो चुकी है. इस दर्दनाक हादसे में सिर्फ तन्नू ही नहीं बल्कि एक ही परिवार के चार और लोग अजय कुमार, राजा कुमार और उनकी पत्नी पिंकी देवी और उनकी बेटी दीपांशी भी मारे गए. जबकि राजा का दो साल का बेटा प्रियांश गंभीर रूप से घायल है.

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