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अब जेब होगी और ढीली, 18 जुलाई से इन 10 चीजों के बढ़ जाएंगे दाम

GST hike: सिर्फ पेट्रोल-डीजल ही नहीं, बल्कि आने वाले दिनों दही और मट्ठा सहित कई अन्य चीजों के दाम भी बढ़ जाएंगे. जीएसटी काउंसिल (GST Council) की पिछले दिनों हुई 47वीं बैठक में रोजमर्रा के उपयोग की कुछ ऐसी चीजों जीएसटी (GST)लगा दिया गया था

Updated on: 11 Jul 2022, 02:54 PM

highlights

  • GST Council की बैठक में लिया गया था फैसला 
  • ऩई दरें 18 जुलाई से हो जाएंगी लागू

नई दिल्ली :

GST hike: सिर्फ पेट्रोल-डीजल ही नहीं, बल्कि आने वाले दिनों दही और मट्ठा सहित कई अन्य चीजों के दाम भी बढ़ जाएंगे. जीएसटी काउंसिल (GST Council) की पिछले दिनों हुई 47वीं बैठक में रोजमर्रा के उपयोग की कुछ ऐसी चीजों जीएसटी (GST)लगा दिया गया था, जो पहले इसके दायरे से बाहर थी. वहीं कुछ वस्‍तुओं पर जीएसटी की दर में बढ़ोतरी भी की गई थी. जानकारी के मुताबिक 18 जुलाई से ये दरें लागू हो जाएंगी. जिसके बाद आपको लस्सी और छांछ खऱीदने पर ज्यादा पैसा चुकाना होगा. यही नहीं 18 जुलाई से ट्रेट्रा पैक वाले दही, लस्‍सी जैसी खाने-पीने की चीजें महंगी हो जाएगी. इसके साथ ही अस्‍पताल में इलाज कराना भी महंगा हो जाएगा.

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इन चीजों का बढ़ेगा दाम 
टेट्रा पैक वाले दही, लस्सी और बटर मिल्क पर पहले जीएसटी नहीं लगता था. 18 जुलाई से इन पर 5% की दर से जीएसटी लगेगा. साथ ही चेक बुक जारी किए जाने पर बैंकों की तरफ से लिए जाने वाले फीस पर 18% जीएसटी लगेगा. अस्पताल में 5,000 रुपये (गैर-आईसीयू) से अधिक किराए वाले कमरे पर अब 5 फीसदी जीएसटी लगेगा. एटलस सहित मैप और चार्ज पर भी 12 फीसदी की दर से जीएसटी लगेगा. होटलों के 1,000 रुपये प्रति दिन से कम किराए वाले रूम पर 12 फीसदी जीएसटी लगेगा. पहले इन पर जीएसटी नहीं लगता था. एलईडी लाइट्स, एलईडी लैंप पर लगने वाला जीएसटी 12 फीसदी से बढ़ाकर 18 फीसदी हो जाएगा. वहीं ब्लेड, पेपर कैंची, पेंसिल शार्पनर, चम्मच, कांटे वाले चम्मच, स्किमर्स और केक-सर्वर्स आदि पर 18 फीसदी की दर से जीएसटी लगेगा. फिलहाल इन पर 12 फीसदी जीएसटी लग रहा है.

जीएसटी काउंसिल ने रोपवे के जरिए यात्रियों और सामानों को लेकर आने-जाने पर जीएसटी दर 18 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी कर दिया है. स्प्लिंट्स और अन्य फ्रैक्चर उपकरण, शरीर के कृत्रिम अंग, बॉडी इंप्लाट्स, इंट्रा ओक्यूलर लेंस आदि पर जीएसटी 12 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी 18 जुलाई से हो जाएगा. जिसका सीधा असर आम आदमी की जेब पर पड़ेगा.