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UP Tourism News
UP News: उत्तर प्रदेश सरकार के पर्यटन विभाग ने गुरुवार को योजना भवन में ‘विकसित उत्तर प्रदेश @2047’ पर्यटन कार्यशाला का आयोजन किया, जिसमें वर्ष 2047 तक यूपी को वैश्विक पर्यटन मानचित्र पर अग्रणी स्थान दिलाने की रणनीति पर व्यापक चर्चा हुई. दिनभर चले सत्रों में पर्यटन के अलग-अलग पहलुओं, भविष्य की जरूरतों और संभावित नीतिगत सुधारों पर विशेषज्ञों ने अपने विचार रखे. इस कार्यशाला में वरिष्ठ अधिकारियों, नीति विशेषज्ञों, शिक्षाविदों और उद्योग जगत से जुड़े प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया.
पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि कार्यशाला में मिले सुझाव राज्य के लिए एक मजबूत और व्यावहारिक विजन डॉक्यूमेंट 2047 तैयार करने में अहम भूमिका निभाएंगे. उन्होंने कहा कि आने वाले समय में यूपी का पर्यटन विकास सामुदायिक भागीदारी, सतत योजनाओं और पर्यटकों को बेहतर अनुभव देने पर केंद्रित रहेगा.
क्या बोले सीएम के मुख्य सलाहकार
मुख्यमंत्री के सलाहकार अवनीश अवस्थी ने कहा कि पर्यटन ऐसा क्षेत्र है जो हमेशा सक्रिय रहता है और यूपी घरेलू पर्यटन में पहले स्थान पर है. उन्होंने बताया कि साल 2025 में पर्यटकों की संख्या नए रिकॉर्ड की ओर बढ़ रही है. अवस्थी ने अयोध्या, काशी और मथुरा में तेजी से हो रहे बुनियादी ढांचे के विकास को राज्य की बड़ी उपलब्धि बताया.
हवाई, रेल और सड़क कनेक्टिविटी में बड़े सुधार- प्रमुख सचिव
प्रमुख सचिव पर्यटन अमृत अभिजात ने मीडिया को बताया कि पिछले आठ वर्षों में हवाई, रेल और सड़क कनेक्टिविटी में बड़े सुधार हुए हैं, जिससे पर्यटन में तेजी आई है. उन्होंने बताया कि प्रदेश भर में म्यूजियम नेटवर्क विकसित किया जा रहा है और शौर्य संग्रहालय प्रोजेक्ट तेजी से आगे बढ़ रहा है. साथ ही सोशल मीडिया, स्किल डेवलपमेंट और स्मार्ट टूरिज्म को बढ़ावा देने पर भी जोर दिया.
यूपी पर्यटन विकास के सबसे मजबूत दौर में
पर्यटन महानिदेशक राजेश कुमार ने मीडिया से कहा कि यूपी वर्तमान समय में पर्यटन विकास के सबसे मजबूत दौर में है. नए एयरपोर्ट, एक्सप्रेस-वे और बड़े सांस्कृतिक आयोजनों ने पर्यटन तंत्र को नई रफ्तार दी है. उन्होंने बताया कि ईको-टूरिज्म, नए सर्किट और समुदाय आधारित मॉडल भविष्य के स्थायी विकास की नींव साबित होंगे.
स्टेट ट्रांसफॉर्मेशन कमीशन के सीईओ मनोज कुमार सिंह ने वेलनेस और आयुष आधारित पर्यटन को बढ़ावा देने पर विशेष जोर दिया. वहीं UPSTDC के एमडी आशीष कुमार ने बताया कि टूर पैकेजों को आधुनिक जरूरतों के अनुसार पुनः डिजाइन किया जा रहा है. ईको-टूरिज्म निदेशक पुष्प कुमार के. ने दुधवा, पीलीभीत और कतर्नियाघाट को मॉडल साइट के रूप में प्रस्तुत करते हुए राज्य की पर्यावरण आधारित पर्यटन प्राथमिकताओं को साझा किया.
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