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केरल विमान हादसा: राज्य़ सरकार ने मृतकों के परिजनों को 10 लाख और ये सहायता देने का दिया भरोसा

केरल सरकार ने यहां के कारीपुर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के रनवे पर एयर इंडिया एक्सप्रेस विमान के उतरते समय हादसे का शिकार होने के बाद मृतकों के परिजन को शनिवार को दस लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की.

Updated on: 08 Aug 2020, 04:56 PM

कोझिकोड:

केरल सरकार ने यहां के कारीपुर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के रनवे पर एयर इंडिया एक्सप्रेस विमान के उतरते समय हादसे का शिकार होने के बाद मृतकों के परिजन को शनिवार को दस लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की. मुख्यमंत्री पिनरायी विजयन ने यहां उच्च स्तरीय बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा कि करीब 18 लोगों की मौत हो गई और 149 का मलप्पुरम एवं कोझिकोड जिले के विभिन्न अस्पतालों में इलाज चल रहा है. बैठक में राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने भी हिस्सा लिया.

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विजयन ने संवाददाताओं से कहा कि राज्य सरकार ने मृतकों के परिजन को दस लाख रुपये बतौर मुआवजा देने का निर्णय किया है. जिन लोगों का उपचार चल रहा है उनका चिकित्सा खर्च राज्य सरकार उठाएगी. मुख्यमंत्री ने बताया कि जिन 18 लोगों की मौत हुई है, उनमें 14 वयस्क हैं और चार बच्चे हैं. विजयन ने कहा कि 14 वयस्कों में सात पुरुष और अन्य महिलाएं हैं. वर्तमान में मलप्पुरम और कोझिकोड जिले के विभिन्न अस्पतालों में 149 लोगों का इलाज चल रहा है, जिनमें 23 की हालत गंभीर है. उन्होंने कहा कि इससे पहले 23 लोगों को प्राथमिक चिकित्सा देने के बाद अस्पतालों से छुट्टी दे दी गई. 

विमान हादसा: मुख्यमंत्री ने स्थानीय लोगों और अधिकारियों की तत्परता की सराहना की

केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने खराब मौसम और कोविड-19 संक्रमण की परवाह किए बिना विमान हादसे के बाद घटनास्थल पर पहुंच कर यात्रियों को बचाने वाले स्थानीय लोगों और अधिकारियों की तत्परता की प्रशंसा की. उल्लेखनीय है कि दुबई से 190 यात्रियों के साथ आ रही एअर इंडिया एक्सप्रेस की एक उड़ान शुक्रवार को यहां भारी बारिश के बीच हवाईअड्डे पर उतरते समय हवाईपट्टी से फिसलने के बाद 35 फुट गहरी खाई में जा गिरी. इस हादसे में 18 लोगों की मौत हो गई है.

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कोझिकोड में घायलों से मिले विजयन ने ट्वीट कर कहा कि स्थानीय लोगों और अधिकारियों की तत्परता से स्थिति और भयानक होने से बच गयी, नहीं तो हालात कुछ और होते. उन्होंने कहा कि शुक्रवार को स्थानीय लोगों और अधिकारियों की तत्परता ही हालात पर नियंत्रण का कारण है. उन्होंने लागों को बचाने के लिए खराब मौसम और कोविड की परवाह नहीं की. रक्तदान के लिए लोगों की लंबी कतारें इस बात का बस एक उदाहरण है.

ट्विटर और अन्य सोशल मीडिया मंचों पर घायलों को बचाने और अस्पतालों तक पहुंचाने के लिए वाहनों की व्यवस्था करते स्थानीय लोग और रात को भी रक्तदान के लिए कतार में खड़े लोगों की तस्वीरें और वीडियो वायरल हो रही हैं. विजयन ने कहा कि हमने कई बार देखा है....जब भी संकट आता है तो केरल के लोग एक साथ मिलकर इसका सामना करने के लिए उठ खड़े होते हैं. हमें एक दूसरे से जोड़ने वाली मानवता ही हमारे समाज की नींव है. आइये मिलकर मलप्पुरम और कोझिकोड को लोगों का आभिवादन करते हैं. मलप्पुरम के जिला कलेक्टर के गोपालकृष्णन ने शुक्रवार को कहा था कि 110 यात्रियों को कोझिकोड के विभिन्न अस्पतालों में और अन्य को मलप्पुरम के अस्पतालों में भर्ती कराया गया है.