पंजाब : पंचायत का फरमान- या तो दिल्ली किसान आंदोलन में जाएं, वरना होगा गांव बहिष्कार

केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के विरोध में किसानों का आंदोलन जारी है. दिल्ली की सीमाओं पर 66 दिन से किसान डटे हुए हैं.

केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के विरोध में किसानों का आंदोलन जारी है. दिल्ली की सीमाओं पर 66 दिन से किसान डटे हुए हैं.

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Dalchand Kumar
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Bathinda panchayat

या आंदोलन के लिए दिल्ली जाएं, वरना होगा गांव बहिष्कार, पंचायत का फरमान( Photo Credit : ANI)

केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के विरोध में किसानों का आंदोलन जारी है. दिल्ली की सीमाओं पर 66 दिन से किसान डटे हुए हैं. किसान इन कानूनों को रद्द किए जाने की मांग पर अड़े हैं. खासकर हरियाणा और पंजाब के किसान इन किसानों के विरोध में दिल्ली पहुंचे हैं. अब पंजाब में हर परिवार से लोगों को किसान आंदोलन के लिए दिल्ली पहुंचने की अपील की जा रही है. हालांकि साथ ही यह भी कहा गया है कि जो लोग दिल्ली नहीं जाएंगे, उन पर जुर्माना लगाया जाएगा.

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दरअसल, यह मामला पंजाब के बठिंडा जिले की विर्क खुर्द ग्राम पंचायत से आया है. जहां ग्राम पंचायत ने फैसला लिया है कि गांव के हर घर से कम से कम एक सदस्य दिल्ली में किसान आंदोलन में हिस्सा लेने के लिए पहुंचेगा. लेकिन साथ ही पंचायत ने यह भी फैसला लिया है कि अगर कोई भी इसका विरोध करता है या दिल्ली नहीं जाता है तो उस पर 1500 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा. इतना ही नहीं, पंचायत ने फरमान सुनाया है कि जो जुर्माना नहीं देगा उसका बहिष्कार किया जाएगा. 

इसके अलावा भी पंजाब के अन्य हिस्सों में लोगों को दिल्ली पहुंचने की अपील की जा रही है. मानसा जिले में तमाम गांवों में दिल्ली में चल रहे आंदोलन के लिए लामबंदी की जा रही है. गांवों में प्रस्ताव किया जा रहा है और हर घर से कम से कम एक व्यक्ति से दिल्ली पहुंचने के लिए कहा जा रहा है. उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार के कानूनों के खिलाफ आंदोलन की शुरुआत पंजाब से हुई है. जिसके बाद हरियाणा के लोग भी समर्थन में उतर आए और बड़ा किसान आंदोलन खड़ा हो गया.

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बीते दिनों कई संगठनों, खाप पंचायतों और ग्राम पंचायतों ने किसानों के आंदोलन का समर्थन किया. यहां तक कि पंजाब के कलाकार, खिलाड़ी भी किसानों के समर्थन में उतर चुके हैं. आपको यह भी बता दें कि 26 जनवरी की घटना के बाद किसानों का आंदोलन खत्म होने की कगार पर पहुंच गया था. जिसके बाद लोगों से इस तरह की अपीलें किए जाने की खबरें लगातार सामने आ रही हैं. हालांकि अब आंदोलन ने फिर से रफ्तार पकड़ ली है.

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