राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) पर हक की लड़ाई शरद पवार और अजित पवार के बीच जारी है. अब मामला चुनाव आयोग के दरवाजे तक पहुंच चुका है. शरद पवार ने गुरुवार को पत्र लिखकर इस मामले में चुनाव आयोग के रवैये पर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने आयोग से पूछा कि जब अजित गुट की ओर से पार्टी के नाम और चुनाव चिन्ह को लेकर दावा किया गया तब इस बात की सूचना चुनाव आयोग की ओर से उन्हें क्यों नहीं दी गई. शरद पवार ने नाराजगी व्यक्त करते हुए चुनाव आयोग से कहा कि आयोग ने उन्हें भतीजे द्वारा दायर की गई याचिका को लेकर कोई सूचना क्यों नहीं दी.
ये भी पढ़ें: Lalu Yadav: बिना पत्नी के पीएम हाउस में रहना गलत, लालू ने राहुल गांधी को दी नसीहत
सभी 27 राज्यों की इकाइयां शरद पवार के साथ
गौरतलब है कि शरद पवार के दिल्ली में मौजूद आवास पर गुरुवार को एनसीपी नेताओं की बैठक हुई. ऐसा दावा किया गया कि इस दौरान एनसीपी के सभी राज्यों के प्रभारियों ने भाग लिया. इस बैठक में बागी विधायकों पर कार्रवाई की गई. इस दौरान गठबंधन सरकार में मंत्री पद की शपथ लेने वाले सभी नौ बागी विधायकों के साथ विद्रोहियों का पक्ष लेने वाले प्रफुल्ल पटेल, सुनील तटकरे और एसआर कोहली को पार्टी से निकाल दिया गया. बैठक के बाद ऐसा कहा गया है कि सभी 27 राज्यों की इकाइयां शरद पवार के साथ हैं.
पार्टी का नेतृत्व कौन कर रहा
अजित पवार गुट ने शरद पवार गुट की दिल्ली में हुई बैठक को लेकर कहा एनसीपी का प्रतिनिधित्व किसके पास है. इसका निर्णय पहले होना चाहिए. यह विवाद चुनाव आयोग के विशेषाधिकार में आता है. जब तक इस फैसला नहीं हो जाता, तब तक कोई भी बैठक को नहीं बुला सकता है. बुधवार को अजीत पवार ने विधायक दल की बैठक को बुलाया था. ऐसा दावा किया जा रहा है कि इस बैठक में कुल में 53 में से 32 विधायकों ने भाग लिया.
HIGHLIGHTS
- याचिका को लेकर कोई सूचना क्यों नहीं दी : शरद पवार
- आवास पर गुरुवार को एनसीपी नेताओं की बैठक हुई
- एनसीपी के सभी राज्यों के प्रभारियों ने भाग लिया