नदियों के अस्तित्व को खतरा, काले पानी में तब्दील हो रही स्वर्णरेखा और खरकई
जमशेदपुर शहर पूरी तरह से दोनों नदियों के बीचों-बीच बसा हुआ है, जिसमें तीन नगर निकाय आते हैं. कई बड़ी कंपनियां भी इस के बीच आती है, जहां एक तरफ नगर निकाय स्वच्छता सर्वेक्षण को लेकर हर साल करोड़ों रुपए खर्च करती है.
highlights
- काले पानी में तब्दील हो रहा स्वर्णरेखा और खरकई
- नदियों के अस्तित्व को खतरा
- नदियों को देखने वाला कोई नहीं
Jamshedpur:
जमशेदपुर शहर पूरी तरह से दोनों नदियों के बीचों-बीच बसा हुआ है, जिसमें तीन नगर निकाय आते हैं. कई बड़ी कंपनियां भी इस के बीच आती है, जहां एक तरफ नगर निकाय स्वच्छता सर्वेक्षण को लेकर हर साल करोड़ों रुपए खर्च करती है. वहीं दूसरी तरफ बड़ी-बड़ी कंपनियां सीएसआर के तहत करोड़ों रुपए शहर पर खर्च करने का दावा करती है. मगर शहर की लाइफ लाइन को देख इन दावों की हकीकत समझी जा सकती है. तीनों नगर निकाय क्षेत्र में लगभग 40 बड़े-बड़े नाले, जो सीधे नदियों में गिरते हैं. मगर अब नगर निकाय का दावा है कि करोड़ों की योजना बनाई जा रही है, जिससे शहर का पानी बिना ट्रीटमेंट हुए नदियों में नहीं जाएगा.
यह भी पढ़ें- JAC ने इंटर साइंस के नतीजे किए घोषित, ऐसे देखें रिजल्ट
काले पानी में तब्दील हो रहा स्वर्णरेखा और खरकई
जमशेदपुर अधिसूचित क्षेत्र समिति का कहना है कि 30 करोड़ की लागत से इस योजना को धरातल पर उतारा जाएगा और हमारे क्षेत्र में आने वाले 19 बड़े नालों के पानी को ट्रीटमेंट कर नदियों में गिराया जाएगा तो, वहीं दूसरी तरफ मानगो नगर निगम के अधिकारी का कहना है कि हमारे यहां भी आठ ना ले जो सीधे नदियों में रहते हैं. कई नदियों में हमने जाली लगाया है, जिससे कपड़ों को रोका जाता है.
नदियों के अस्तित्व को खतरा
मगर गंदा पानी नदी में गिरता है, जिसकी वजह से नदी का पानी काला होता जा रहा है. विभाग जमीन चिन्हित कर रही है, जिस पर ट्रीटमेंट प्लांट लगाया जाए और शहर के तमाम ड्रेनेज और नालों के पानी को रीसाइक्लिंग किया जाएगा. इन दोनों नदियों से जहां पूरे शहर को पीने का पानी उपलब्ध कराया जाता है, तो वहीं आसपास के 40 गांव इस नदी पर डिपेंड है. पानी इतना गंदा हो गया है कि विभाग को लोगों तक पानी पहुंचाने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, तो वहीं दूसरी तरफ लगातार नदी सुरक्षा को लेकर आवाज उठाते सरयू राय ने इन सभी दावों पर सवाल खड़ा कर दिया है.
नदियों को देखने वाला कोई नहीं
इस पर केंद्र सरकार के साथ राज्य सरकार को भी इन दोनों नदियों को बचाने के लिए एक ठोस कदम उठाने की मांग की है, वहीं सरयू राय ने मंत्री बन्ना गुप्ता के पहल पर सवाल खड़ा किया और दूसरी तरफ नगर निकाय के अधिकारियों द्वारा किए गए दावों पर भी सवाल खड़ा करते हुए कहा कि इस पर अब सरकार और हाई कोर्ट को संज्ञान लेना चाहिए जिससे हर साल करोड़ों रुपए खर्च हो जा रहे हैं मगर नदी अपना अस्तित्व होते जा रही है.
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
-
PBKS vs RCB Dream11 Prediction : पंजाब और बेंगलुरु के मैच में ये हो सकती है बेस्ट ड्रीम11 टीम, इसे चुनें कप्तान
-
SRH vs LSG : हेड-अभिषेक का तूफान, हैदराबाद ने 9.4 ओवर में चेज किया 166 का लक्ष्य, लखनऊ को 10 विकेट से रौंदा
-
SRH vs LSG Dream11 Prediction: हैदराबाद और लखनऊ के मैच में ये हो सकती है बेस्ट ड्रीम11 टीम, इसे चुनें कप्तान
मनोरंजन
धर्म-कर्म
-
Akshaya Tritiya Shubh Muhurat: सिर्फ इस शुभ मुहूर्त में खरीदा गया गोल्ड ही देगा शुभ-लाभ
-
Jyotish Shastra: इस राशि के लोग 6 जून तक बन जाएंगे धनवान, जानें आपकी राशि है या नहीं
-
Kedarnath Opening Date 2024: सुबह इतने बजे खुलेंगे बाबा केदारनाथ के कपाट, 10 टन फूलों से की जा रही है सजावट
-
Akshaya Tritiya Mantra: अक्षय तृतीया के दिन जपने चाहिए देवी लक्ष्मी के ये मंत्र, आर्थिक स्थिति होती है मजबूत