नोएडा: डिजिटल अरेस्ट का मामला सामने आया, ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, चीन से जुड़े तार

उत्तर प्रदेश एसटीएफ की नोएडा इकाई ने सूरजपुर थाना क्षेत्र से संगठित गिरोह का भंड़ाफोड़ किया. शातिर अपराधियों को गिरफ्तार किया गया है 

उत्तर प्रदेश एसटीएफ की नोएडा इकाई ने सूरजपुर थाना क्षेत्र से संगठित गिरोह का भंड़ाफोड़ किया. शातिर अपराधियों को गिरफ्तार किया गया है 

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Mohit Saxena
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cyber crime in noida

cyber crime Photograph: (social media)

उत्तर प्रदेश एसटीएफ की नोएडा ईकाई ने बड़ी कार्रवाई की. उसने सूरजपुर थाना क्षेत्र से एक संगठित गिरोह का भंडाफोड़ कर दिया है. यहां से दो शातिर अपराधियों गिरफ्तार कर लिया गया है. ये चीनी नागरिकों के साथ मिलकर डिजिटल अरेस्ट और गेमिंग तथा ट्रेडिंग ऐप के जरिए साइबर ठगी कर रहे थे.

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इस गिरोह के तीन अन्य सदस्य पहले ही गिरफ्तार हो चुके हैं. एसटीएफ को मुखबिर से सूचना प्राप्त हुई थी. उसे सूचना मिली थी कि एक गिरोह ग्रेटर नोएडा में एक्टिव है. यह कई लोगों को डिजिटल अरेस्ट का झांसा देकर धोखाधड़ी के काम में लगा है. इसके बाद एसटीएफ ने योजना बनाकर तुरंत कार्रवाई को अंजाम दिया. उसने दो लोगों को गिरफ्तार किया. दोनों अभियुक्तों में हर्ष वर्धन (28) और रोहन अग्रवाल (29) हैं. हर्ष वर्धन ने कलिंगा यूनिवर्सिटी से बीए एलएलबी की है. वहीं रोहन इंटर पास है.

साइबर अपराधों अंजाम दिया करते थे

पूछताछ में सामने आया कि रोहन की सट्टे के दौरान एक शख्स से मुलाकात हुई. ये चीनी नागरिकों को म्यूल अकाउंट उपलब्ध कराता था. उसी से काम सीखकर उसने चीनी हैडलर्स से संपर्क साधा. गिरफ्तार अभियुक्तों के अनुसार, वे टेलीग्राम ऐप के जरिए चीनी नागरिकों से जुड़कर बैंक खातों के जरिए साइबर अपराधों अंजाम दिया करते थे. इन अपराधियों ने भारत में म्यूल अकाउंट्स की व्यवस्था की. सभी खातों को एपीआई टूल्स के जरिए  साइबर अपराधियों के लिए उपलब्ध कराया. इसके बाद इन खातों से धन को अवैध ट्रांसफर की प्रक्रिया पूरी हो जाती थी. इसके बाद क्रिप्टोकरेंसी में बदलकर पैसा विदेशा भेजा जाता. 

38.8 लाख यूएसडीटी ट्रांसफर किए

रोहन के अनुसार, नवंबर 2024 से अब तक उसके यूएसडीटी वॉलेट में 38.8 लाख यूएसडीटी ट्रांसफर किए. इसकी भारतीय मुद्रा में कीमत करीब 3.49 करोड़ रुपये थी. इस धन को हवाला के जरिए कैश में बदला जाता था. इसका हिस्सा अन्य गिरोह को भी दिया जाता था. गिरफ्तार अभियुक्तों से 150 म्यूल अकाउंट्स की जानकारी मिली है. इसे साइबर अपराध में उपयोग किया जाता. इन म्यूल अकाउंट्स से संबंधित 471 से ज्यादा साइबर फ्रॉड की शिकायतें मिलीं.  एसटीएफ ने अभियुक्तों से विभिन्न दस्तावेज और सामग्रियां प्राप्त की हैं. इसमें 14 डेबिट/क्रेडिट कार्ड, तीन आधार कार्ड, पैन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट, सात मोबाइल फोन और चार लाख रुपये की नकदी को जब्त किया गया है.

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