Delhi: इन गाड़ियों की 1 नवंबर से एंट्री बैन, केवल ऐसे वाहनों पर मिलेगी छूट, घर से निकलने से पहले पढ़ लें नियम

Delhi Air Pollution: यह एक तरह का संक्रमणकाल होगा ताकि ट्रांसपोर्ट कंपनियां अपने वाहनों को धीरे-धीरे BS-VI मानक में अपग्रेड कर सकें. इसके बाद पुराने वाहनों पर पूरी तरह रोक लागू हो जाएगी.

Delhi Air Pollution: यह एक तरह का संक्रमणकाल होगा ताकि ट्रांसपोर्ट कंपनियां अपने वाहनों को धीरे-धीरे BS-VI मानक में अपग्रेड कर सकें. इसके बाद पुराने वाहनों पर पूरी तरह रोक लागू हो जाएगी.

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Yashodhan.Sharma
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Delhi News on Vechicles

सांकेतिक तस्वीर Photograph: (Social)

Delhi News: दिल्ली में हर साल सर्दियों के मौसम में वायु प्रदूषण बड़ी समस्या बन जाता है. हवा इतनी जहरीली हो जाती है कि सांस लेना भी मुश्किल हो जाता है. इसी संकट से निपटने के लिए सरकार ने अब बड़ा कदम उठाया है. 1 नवंबर से राष्ट्रीय राजधानी में केवल BS-VI मानक वाले कॉमर्शियल गुड्स वाहन ही प्रवेश कर सकेंगे. यह फैसला वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) और दिल्ली परिवहन विभाग के संयुक्त निर्देशों के तहत लिया गया है. इस कदम का मकसद है सर्दियों में बढ़ते प्रदूषण को नियंत्रित करना और पुराने, अधिक धुआं छोड़ने वाले वाहनों को सड़कों से हटाना.

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BS-VI से नीचे के वाहनों पर रोक

CAQM ने आदेश जारी कर कहा है कि दिल्ली में अब BS-IV और BS-III जैसे पुराने इंजन मानक वाले कॉमर्शियल गुड्स वाहनों की एंट्री पूरी तरह से प्रतिबंधित होगी. यह रोक अन्य राज्यों में रजिस्टर्ड ट्रकों, टेंपो और लोडिंग वाहनों (लाइट, मीडियम और हेवी गुड्स वाहन) पर लागू होगी. इसका सीधा मतलब है कि अब केवल BS-VI मानक वाले ट्रक या स्वच्छ ईंधन से चलने वाले वाहन ही दिल्ली में प्रवेश कर पाएंगे. यह फैसला दिल्ली की हवा में सुधार की दिशा में एक निर्णायक कदम माना जा रहा है.

BS-IV वाहनों को मिली अस्थायी राहत

हालांकि, सरकार ने ट्रांसपोर्ट सेक्टर को थोड़ी राहत भी दी है. जिन वाहनों में BS-IV इंजन है, उन्हें 31 अक्टूबर 2026 तक अस्थायी अनुमति दी गई है. यह एक तरह का संक्रमणकाल होगा ताकि ट्रांसपोर्ट कंपनियां अपने वाहनों को धीरे-धीरे BS-VI मानक में अपग्रेड कर सकें. इसके बाद पुराने वाहनों पर पूरी तरह रोक लागू हो जाएगी.

किन वाहनों को मिलेगी छूट

CAQM ने अपने नोटिफिकेशन में यह भी साफ किया है कि कुछ वाहनों को इस आदेश से छूट दी जाएगी. इनमें शामिल हैं—

  • दिल्ली में रजिस्टर्ड कॉमर्शियल गुड्स वाहन
  • BS-VI मानक के पेट्रोल और डीजल वाहन
  • BS-IV इंजन वाले वाहन (सिर्फ 31 अक्टूबर 2026 तक)
  • CNG, LNG और इलेक्ट्रिक कॉमर्शियल वाहन

निजी और पैसेंजर वाहनों पर लागू नहीं होंगे ये नियम

सरकार ने यह भी स्पष्ट किया है कि फिलहाल निजी वाहन चालकों को चिंता करने की जरूरत नहीं है. यह नियम सिर्फ कॉमर्शियल गुड्स वाहनों पर लागू होगा. निजी कारें, बाइक या टैक्सी सेवाएं जैसे ओला-उबर पर कोई रोक नहीं लगाई गई है. हालांकि, अगर भविष्य में प्रदूषण का स्तर और बढ़ता है, तो इन पर भी सख्ती की जा सकती है.

क्या है BS-VI मानक

BS-VI यानी Bharat Stage-VI भारत सरकार का उत्सर्जन मानक है, जो 1 अप्रैल 2020 से लागू हुआ. यह यूरोप के Euro-VI मानक के बराबर है. इसमें इंजन और ईंधन दोनों को इस तरह डिजाइन किया गया है कि वाहन से निकलने वाले हानिकारक तत्व जैसे नाइट्रोजन ऑक्साइड (NOx), पार्टिकुलेट मैटर (PM) और कार्बन मोनोऑक्साइड (CO) की मात्रा बेहद कम हो. BS-VI डीजल इंजन वाले वाहन पुराने इंजनों की तुलना में 70 से 80 प्रतिशत तक कम प्रदूषण करते हैं. इससे न केवल हवा साफ रहती है, बल्कि इंजन की कार्यक्षमता भी बढ़ जाती है.

सरकार की तैयारी और सख्त निगरानी

दिल्ली परिवहन विभाग ने सभी प्रवेश बिंदुओं पर RFID (Radio Frequency Identification) सिस्टम सक्रिय कर दिया है. इससे यह सुनिश्चित किया जाएगा कि केवल योग्य वाहन ही राजधानी में दाखिल हो सकें. जो वाहन इस नियम का उल्लंघन करेंगे, उन पर ₹20,000 तक का जुर्माना लगाया जाएगा. बार-बार नियम तोड़ने वालों का परमिट भी रद्द किया जा सकता है.

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