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पंजाब में पराली जलाने की घटनाओं में 65% तक आई कमी : दुर्गेश पाठक

सुप्रीम कोर्ट के आदेश से यह तो साफ हो गया है कि दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण के लिए केंद्र-हरियाणा सरकार जिम्मेदार है. इसके लिए केंद्र के कैबिनेट सचिव को जिम्मेदारी दी है कि वह दिन प्रतिदिन के स्तर पर प्रदूषण समस्या का समाधान करें.

Updated on: 08 Nov 2023, 07:50 PM

नई दिल्ली:

सुप्रीम कोर्ट के आदेश से यह तो साफ हो गया है कि दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण के लिए केंद्र-हरियाणा सरकार जिम्मेदार है. इसके लिए केंद्र के कैबिनेट सचिव को जिम्मेदारी दी है कि वह दिन प्रतिदिन के स्तर पर प्रदूषण समस्या का समाधान करें. इसे लेकर आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता दुर्गेश पाठक का कहना है कि दिल्ली के प्रदूषण के लिए सबसे ज्यादा दोषी हरियाणा सरकार है. दिल्ली और आसपास के सभी जगहों पर प्रदूषण का काला साया छाया है‌.

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आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता और विधायक दुर्गेश पाठक ने पार्टी मुख्यालय में बुधवार को पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि ये बड़े दुर्भाग्य की बात है कि जब सुप्रीम कोर्ट में गंभीर विषय पर चर्चा चल रही है तब पांच राज्यों दिल्ली, हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश और राजस्थान के प्रतिनिधि उसमें शामिल हैं. सिर्फ दिल्ली और पंजाब ने अपना एफिडेविट शामिल किया. किसी राज्य ने अपना एफिडेविट नहीं दिया है. 

उन्होंने कहा कि कुछ लोग सीएम अरविंद केजरीवाल और पंजाब के ऊपर इस जिम्मेदारी को डाल देते हैं. ऐसा लगता है कि पूरा एक एजेंडा चलाया जाता है कि किसी तरह से सीएम केजरीवाल को बदनाम करो, लेकिन एक भी व्यक्ति ने केंद्र से सवाल नहीं किया कि तुमने कोई काम क्यों नहीं किया? सभी राज्यों के साथ बैठकर कोई योजना क्यों नहीं बनाई?

उन्होंने आगे कहा कि पंजाब सरकार ने कल अपने हलफनामे में बताया कि पराली को नष्ट करने वाली मशीनों की कीमत काफी ज्यादा है. पंजाब सरकार मशीन की खरीद पर किसानों को सब्सिडी देने के लिए तैयार है, लेकिन केंद्र कोई मदद नहीं कर रहा है. कोर्ट ने कहा है कि इसमें केंद्र को भी 50 फीसदी की मदद करनी चाहिए. पंजाब में हमारी सरकार बनने से पहले 2021 में लगभग 73 हजार जगह पर पराली जलाई जाती थी, लेकिन अब हमारी सरकार बनने के बाद यह आंकड़ा 17 हजार पर आ गया है. ऐसे में पराली जलाने की घटनाओं में करीब 65 फीसदी तक की कमी आई है.

उन्होंने कहा कि पंजाब में जल्द पराली जलाने की घटनाओं में और कमी आएगी, लेकिन इससे समाधान नहीं होगा, क्योंकि हरियाणा, पश्चिमी यूपी और राजस्थान में क्या हो रहा है? इसके ऊपर कोई भी चर्चा नहीं हो रही है. दो दिन पहले की रिपोर्ट की मुताबिक कैथल सबसे ज्यादा प्रदूषित जिला माना गया है, लेकिन इसके ऊपर कोई चर्चा नहीं होती है. हमने एक तरह से आंखें बंद कर ली हैं कि कुछ भी आए दिल्ली को जिम्मेदार ठहरा दो, जबकि दिल्ली का तो प्रदूषण में कुछ भी योगदान नहीं है. 

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उन्होंने आगे कहा कि करीब 15 दिनों बाद जब हवा चल जाएगी और बारिश हो जाएगी तो दिल्ली साफ हो जाएगी. हकीकत यह है कि दिल्ली के प्रदूषण के लिए सबसे ज्यादा कोई दोषी है तो वह हरियाणा है. दुर्गेश पाठक ने कहा कि असली सच्चाई यह है कि इससे जनता सफर कर रही है. हमें मिलकर इसका रास्ता निकालना होगा. हर चीज में इस तरह की गंदी राजनीति करने की क्या जरूरत है? कुछ चीजों को राजनीति से दूर रखना चाहिए.