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चंपई बने झारखंड के मुख्यमंत्री तो गदगद हुए मांझी, ट्वीट कर जताई खुशी

एक तरफ बिहार की सियासत दिन-ब-दिन गर्म होती नजर आ रही है तो वहीं दूसरी तरफ सियासी घमसानों के बीच बिहार के पूर्व सीएम जीतन राम मांझी अक्सर अपने बयानों को लेकर सुर्खियों में बने रहते हैं. अब उन्होंने झारखंड के नए सीएम चंपई सोरेन पर अपनी प्रतिक्रिया दी.

Updated on: 02 Feb 2024, 05:54 PM

highlights

  • चंपई बने झारखंड के मुख्यमंत्री तो गदगद हुए मांझी
  • मांझी की पार्टी को अब तक मिला है सिर्फ एक विभाग 
  • जानें झारखंड का सियासी गणित

Patna:

Bihar Politics News: एक तरफ बिहार की सियासत दिन-ब-दिन गर्म होती नजर आ रही है तो वहीं दूसरी तरफ सियासी घमसानों के बीच बिहार के पूर्व सीएम जीतन राम मांझी अक्सर अपने बयानों को लेकर सुर्खियों में बने रहते हैं. अब उन्होंने झारखंड के नए सीएम चंपई सोरेन पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. मांझी के इस नये बयान से बिहार में सियासी हलचल तेज हो सकती है. दरअसल, जीतन राम मांझी ने अपने ऑफिसियल एक्स (X) अकाउंट पर चंपई सोरेन को लेकर एक ट्वीट किया है. उन्होंने लिखा है कि, ''आंदोलन की उपज, हमेशा गरीबों-मजलूमों की आवाज रहे. जमीनी कार्यकर्ता भाई चंपई सोरेन जी को झारखंड के मुख्यमंत्री पद संभालने की बधाई. आप से झारखंड को उम्मीद है.'' अब मांझी का ये ट्वीट बिहार के सियासी घमासान को और क्या मोड़ देगा ये तो आने वाले वक्त में ही पता चलेगा.

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पहले बजट पर दी थी प्रतिक्रिया

आपको बता दें कि एक दिन पहले ही मांझी ने बजट पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए बजट की तारीफ की थी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बधाई दी थी. मांझी ने एक्स पर पोस्ट किया था कि, ''यह बजट गरीब, महिला, युवा और किसानों के हित में है, जिसमें सबका ख्याल रखा गया है.'' वहीं मांझी ने आगे लिखा है कि, ''इस बजट से देश और देशवासियों की आर्थिक संपन्नता बढ़ेगी. आशा, आंगनबाड़ी आदि कार्यकर्ताओं को आयुष्मान भारत योजना के दायरे में लाने का निर्णय अद्वितीय है. बजट के लिए नरेंद्र मोदी को बहुत-बहुत बधाई.'' 

मांझी की पार्टी को अब तक मिला है सिर्फ एक विभाग 

इसके साथ ही आपको बता दें कि बिहार में नई सरकार बनने के बाद मांझी की पार्टी को अब तक केवल एक विभाग मिला है. ऐसा अनुमान है कि मांझी ने एक और विभाग की मांग की है. इसके अलावा यह भी कयास लगाया जा रहा है कि अगर उनकी मांग पूरी नहीं हुई तो वह एनडीए छोड़ सकते हैं.

जानें झारखंड का सियासी गणित

गौरतलब है कि  81 सीट वाली झारखंड विधानसभा में बहुमत का आंकड़ा 41 होना चाहिए. यानी जिस पार्टी के पास जादूई आंकड़ा होगा उस दल की सरकार बनेगी. फिलहाल झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM)के नेता चंपई सोरेन ने 47 विधायकों के समर्थन होने का दावा किया है. बुधवार को वो 43 विधायकों के साथ राजभवन भी गए थे. इन 47 विधायकों में जेएमएम के 29, कांग्रेस के 17, आरजेडी के 1 और सीपीआई (एमएल) का 1 विधायक शामिल हैं.

वहीं, दूसरी ओर एनडीए के 32 विधायक हैं. इनमें बीजेपी के 26, एजेएसयू के 3, एनसीपी (एपी) के 1 और दो निर्दलीय विधायक हैं. अगर झारखंड में सरकार बनाने की बात होती है तो एनडीए को सरकार बनाने के लिए सिर्फ 9 विधायकों का समर्थन चाहिए.