मुजफ्फरपुर आश्रय गृह मामला : अदालत ने CBI से ब्रजेश ठाकुर की अपील पर जवाब देने को कहा

न्यायमूर्ति विपिन सांघी और न्यायमू्ति रजनीश भटनागर की पीठ ने निचली अदालत के 20 जनवरी और 11 फरवरी के फैसले को रद्द करने के अनुरोध वाली अपील पर सीबीआई को नोटिस जारी किया.

न्यायमूर्ति विपिन सांघी और न्यायमू्ति रजनीश भटनागर की पीठ ने निचली अदालत के 20 जनवरी और 11 फरवरी के फैसले को रद्द करने के अनुरोध वाली अपील पर सीबीआई को नोटिस जारी किया.

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yogesh bhadauriya
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प्रतीकात्मक तस्वीर( Photo Credit : News Nation)

दिल्ली उच्च न्यायालय ने मुजफ्फरपुर आश्रय गृह मामले में दोषी ठहराए जाने और जेल की सजा को चुनौती देने वाली ब्रजेश ठाकुर की याचिका पर बुधवार को सीबीआई से जवाब मांगा. न्यायमूर्ति विपिन सांघी और न्यायमू्ति रजनीश भटनागर की पीठ ने निचली अदालत के 20 जनवरी और 11 फरवरी के फैसले को रद्द करने के अनुरोध वाली अपील पर सीबीआई को नोटिस जारी किया.

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पहले फैसले में ठाकुर को मामले में दोषी ठहराया गया था और 11 फरवरी का आदेश सजा से संबंधित था. पीठ ने मामले में अगली सुनवाई 25 अगस्त को तय की है. अदालत ने कहा, “सीबीआई अगली तारीख से पहले स्थिति रिपोर्ट या जवाब दायर करे.”

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उच्च न्यायालय ने सीबीआई से ठाकुर की उस याचिका पर भी जवाब मांगा है जिसमें उसने निचली अदालत द्वारा उसपर लगाए गए 32.20 लाख रुपये के जुर्माने पर रोक लगाने का अनुरोध किया है. यहां की एक निचली अदालत ने ठाकुर को “मृत्यु तक कठोर उम्रकैद की सजा” सुनाई थी और उसपर 32.20 लाख रुपये का जुर्माना यह कहते हुए लगाया था कि वह “सावधानीपूर्व रची गई” साजिश का मास्टरमाइंड था और उसने “अत्यधिक विकृति दिखाई.” ठाकुर को आश्रय गृह में कई लड़कियों के यौन उत्पीड़न के जुर्म में सजा सुनाई गई. बिहार पीपुल्स पार्टी (बीपीपी) के टिकट पर विधानसभा चुनाव लड़ चुके ठाकुर के अलावा, निचली अदालत ने मामले में कई अन्य लोगों को भी उम्रकैद की सजा सुनाई थी.

Source : PTI

Bihar CM Nitish Kumar cbi muzaffarpur shelter home
      
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