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35 बार घर से भागी पत्नी, बच्चों के साथ पोस्टर लेकर भीख मांग रहा पति

कृष्ण कुमार गुप्ता ने बताया कि पिछले 7 महीने से मेरी पत्नी हम सभी को छोड़ कर भाग गई. मैं भी अपना काम छोड़कर घर पर इन बच्चों की देखरेख में लग गया हूं. अपने बच्चों को लेकर कड़कड़ाती ठंढ में पिता को मजबूर हो कर भीख मांगना पड़ रहा है.

Updated on: 06 Jan 2023, 02:53 PM

highlights

  • दो बच्चों के साथ सड़क पर भीख मांगते हुए नजर आया पिता 
  • अपने पूरे परिवार में अकेला है कृष्ण कुमार गुप्ता 
  • 7 महीने पहले पत्नी सभी को छोड़ कर भाग गई
  • पत्नी का मानसिक संतुलन सही नहीं रहने के कारण 33 बार भागी 

kaimur:

बिहार के कैमूर में एक ऐसा परिवार सड़कों पर मिला जिसे देख सभी हैरान है. कोई पिता इतना मजबूर कैसे हो सकता है कि अपने बच्चों को लेकर कड़कड़ाती ठंड में भीख मांगना पड़ रहा है. जिले के रामगढ़ थाना क्षेत्र के डहरक गांव के रहने वाले कृष्णा मुरारी गुप्ता अपने दो बच्चों के साथ सड़क पर भीख मांगते हुए नजर आए. एक बैनर लेकर सड़कों पर एक छोर से 4 साल का बच्चा पकड़ता है तो दूसरे छोर से 8 माह के बच्चे को गोद में लिए हुए कृष्णा कुमार गुप्ता पकड़े हैं. कृष्ण कुमार गुप्ता अपने पूरे परिवार में अकेले हैं, ना तो मां पिता है और ना ही कोई भाई बहन, अकेले इन दोनों बच्चों को संभाल रहे हैं. बच्चों की देखरेख के कारण वह घर से बाहर कमाने भी नहीं जा पा रहे हैं. इसलिए लाचार होकर इस कड़कड़ाती ठंड में अपने दोनों बच्चों को लेकर भीख मांग रहे हैं कि कोई उनकी परवरिश के लिए दया दिखा दे. उन्होंने अपने बैनर पर लिखवा रखा है कि 'देश आजाद हो चुका है लेकिन पुरुष आजाद नहीं है. शौक नहीं मजबूरी है बच्चों की परवरिश जरूरी है, देना है तो काम दीजिए नहीं तो दान दीजिए.' उन्होंने बताया कि बच्चों की मां का मानसिक संतुलन सही नहीं रहने के कारण वो घर से कई बार भाग गई है. 

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कृष्ण कुमार गुप्ता ने बताया कि 7 महीने पहले मेरी पत्नी हम सभी को छोड़ कर भाग गई. मैं भी अपना काम छोड़कर घर पर इन बच्चों की देखरेख में लग गया हूं. दो छोटे-छोटे बच्चे हैं इनको छोड़कर मैं किसी काम पर कैसे जाऊं ना घर पर मेरे मां बाप है और ना ही कोई भाई बहन है, मैं सिर्फ अकेला हूं. ऐसी स्थिति में बच्चों के पालन पोषण के लिए एकमात्र भीख मांगना ही बच गया है. मेरी पत्नी पहली दफे नहीं बल्कि 33 बार भाग चुकी है, क्योंकि उसका मानसिक संतुलन सही नहीं है. कई बार तो प्रशासन के सहयोग से पत्नी को ढूंढा गया लेकिन अब कोई मेरा सहयोग करने वाला नहीं है मैं लाचार हूं. ऐसी हालात देखकर कभी सोचता हूं कि मैं आत्महत्या कर लूं क्या करूं समझ में नहीं आ रहा.

कृष्ण कुमार गुप्ता की ऐसी हालत देखर बिहार सरकार पर कई सवाल खड़े होते हैं कि 7 महीने हो चुके हैं लेकिन अब तक पुलिस उसकी पत्नी को नहीं खोज पाई है. वहीं, क्या सरकार को इस लाचार पिता की मदद नहीं करनी चाहिए ताकि वो अपने बच्चों का पालन पोषण कर सके.  

रिपोर्ट - रंजन त्रिगुण