छपरा विधानसभा 2025 की सबसे रोमांचक लड़ाई खेसारी लाल यादव और छोटी कुमारी के बीच है. कड़ी सुरक्षा के बीच मतगणना शुरू हो रही है और शुरुआती बढ़त किसे मिलेगी, इस पर पूरे बिहार की नजर टिकी है.
Bihar Election 2025: छपरा से हमारे संवाददाता विपिन के अनुसार सुबह 8 बजे से मतगणना शुरू हो गई है. इसको लेकर क्षेत्र में सुरक्षा व्यवस्था बेहद कड़ी है. बाजार और आसपास के क्षेत्रों में हर व्यक्ति की जांच की जा रही है. मोबाइल से लेकर अन्य सामान तक की जांच कर प्रवेश की अनुमति दी जा रही है. छपरा की कुल 10 विधानसभा सीटों पर कांटे की टक्कर है. इनमें सबसे ज्यादा चर्चा छपरा विधानसभा की रही, जहां राजद उम्मीदवार के तौर पर खेसारी लाल यादव मैदान में थे. यही वजह है कि यहां का माहौल सबसे रोमांचक माना जा रहा है.
NDA में अंदरूनी चुनौतियां और नेताओं की परीक्षा
विकास के अनुसार इस चुनाव में एनडीए की स्ट्राइक रेट पर सभी की नजर है. खासकर एलजेपी (रामविलास) और चिराग पासवान के प्रदर्शन पर. सीट बंटवारे के दौरान चिराग की दावेदारी के चलते काफी देरी हुई थी. उन्हें मिली सीटों में से कई 2020 में एनडीए ने नहीं जीती थीं, इसलिए मुकाबला कड़ा है. वहीं उपेंद्र कुशवाहा भी चर्चा में रहे. कई कार्यकर्ताओं का मानना है कि वे इस बार वोट ट्रांसफर कराने में कमजोर साबित हो सकते हैं.
जातीय समीकरण: बिहार की राजनीति का असली आधार
पयोदी के मुताबिक बिहार का पूरा चुनाव जातीय संतुलन पर आधारित रहा. यादव लगभग 14%, मुस्लिम 17%, पासवान 5%, कुर्मी, भूमिहार, राजपूत, ब्राह्मण सहित अन्य जातियों का भी अपना अहम प्रभाव है. दलों ने इन्हीं समीकरणों के आधार पर उम्मीदवार तय किए.
नतीजों से साफ होगा पूरा गणित
मुद्दों में बेरोजगारी, पलायन, विकास और उद्योग की कमी जरूर थे, लेकिन अंत में फैसला जातीय गोलबंदी और नेताओं की पकड़ पर निर्भर करता दिख रहा है. अब रुझान आने के बाद तस्वीर और साफ होगी.
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