बिहार विधानसभा चुनाव (Bihar Assembly Election) के लिए अभी तारीखों की घोषणा नहीं हुई है, हालांकि इसके पहले भारतीय जनता पार्टी ने अपनी स्थिति का आकलन करने के लिए एक इंटरनल सर्वे कराया है. मगर इंटरनल सर्वे के आधार पर जो नतीजे सामने आए हैं, उससे बीजेपी की चिंताएं बढ़ गई हैं. सूत्रों से पता चला है कि सर्वे के लिए बीजेपी ने पार्टी के जनरल सेक्रेटरी, एमएलसी और प्रदेश उपाध्यक्षों के 90 लोगों की टीम बनाई थी और यह सर्वे 25 से 28 अगस्त के बीच किया गया है. लेकिन अब जो सर्वे रिपोर्ट बीजेपी के पास आई है वो चौंकाने वाली है.
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सूत्रों के मुताबिक, इंटरनल सर्वे में यह बात भी सामने आई है कि लोग अब नीतीश कुमार को कम पसंद करने लगे हैं, उनकी लोकप्रियता में आई भारी कमी है. लोगों को नीतीश कुमार की विश्वसनीयता पर लोग संदेह करने लगे हैं. जिसके पीछे की वजह पार्टियों के साथ गठबंधन तोड़ना. क्योंकि नीतीश पहले भाजपा का साथ छोड़ आरजेडी से मिले, फिर आरजेडी को छोड़कर बीजेपी के साथ आए. ऐसे में बिहार की जनता का भरोसा नीतीश कुमार पर कम होने लगा है.
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इसके अलावा लालू यादव को लेकर नीतीश का नरम रुख भी एक वजह है. सर्वे में ये भी बात सामने आई है कि नीतीश के इस कार्यकाल में हुए कामों से लोग नाखुश हैं. राज्य में बहुत तेजी से बढ़ता अपराध और बेरोजगारी के मुद्दे पर भी लोगों में नाराजगी की बात सामने आई है. बीजेपी की सर्वे टीम ने इस रिपोर्ट को बिहार बीजेपी प्रभारी भूपेंद्र यादव और उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी को सौंप दिया है. सूत्र बताते हैं कि अब बीजेपी इस रिपोर्ट के आधार पर अपनी रणनीति बना रही है.