logo-image

यूरोपीय संसद का बीजिंग ओलंपिक 2022 के बहिष्कार का ऐलान

कोरोना वायरस के बीच चीन को एक और बड़ा झटका लगा है. बताया जा रहा है कि यूरोपिय संसद ने शीतकालीन ओलंपिक के बहिष्कार का ऐलान कर दिया है. साल 2022 यानी अगले ही साल चीन के बीजिंग में शीतकालीन ओलंपिक खेले होने हैं.

Updated on: 10 Jul 2021, 11:37 AM

नई दिल्ली :

कोरोना वायरस के बीच चीन को एक और बड़ा झटका लगा है. बताया जा रहा है कि यूरोपिय संसद ने शीतकालीन ओलंपिक के बहिष्कार का ऐलान कर दिया है. साल 2022 यानी अगले ही साल चीन के बीजिंग में शीतकालीन ओलंपिक खेले होने हैं. यूरोपिया संसदों ने इस पर आमराय बनाते हुए कहा है कि चीन के मानवाधिकारों के हनन के कारण हमें 202 बीजिंग ओलंपिक का बहिष्कार करना चाहिए. इसके साथ ही सांसदों ने सरकार से मांग की है कि उइगर मुसलमानों को लेकर चीन जो व्यवहार कर रहा है, ऐसे में उस पर और अधिक प्रतिबंध लगाने चाहिए. इस प्रस्ताव को रेइनहार्ड बुटिकोफर ने पेश किया है.

यह भी पढ़ें : IPL 2021 : एमएस धोनी के पीछे पीछे सुरेश रैना भी लेंगे आईपीएल से रिटायरमेंट

यूरोपियां सांसदों का कहना है कि चीन के साथ प्रत्यर्पण संधि भी जल्द से जल्द खत्म की जानी चाहिए. उन्होंने बीजिंग ओलंपिक के डिप्लोमेटिक बॉयकाट के लिए भी कहा है. उनका कहना है कि इन सब मामलों को लेकर आम सहमति काफी मजबूत है, साथ ही यह भी तय किया जाएगाा कि यूराप में राज्य सरकारें भी एक अडिग रुख अपनाएं. यहां यह भी खास बात है कि यूरोपिया सांसदों का प्रस्ताव मानने के लिए सदस्य देश किसी भी तरह से बाध्य नहीं हैं. रेइनहार्ड बुटिकोफर का कहना है कि यूरोपिय संघ के सदस्य देश और यूरोपिय आयोग भी हॉन्ग कॉन्ग में चीन के दमन के खिलाफ बोलने के लिए इच्छुक नजर नहीं आ रहा है. 

यह भी पढ़ें : लिटिल मास्टर सुनील गावस्कर 72 साल के हुए, जानिए उनके कीर्तिमान जो अटूट 

उधर इस पूरे मामले का चीन ने भी कड़ा विरोध जताया है. चीन में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता वांग वेनबिन का कहना है कि चीन खेल के राजनीतिकरण और मानवाधिकारों के मुददे को बहाना बनाकर हमारे आंतरिक मामले में हस्तक्षेप करने का कड़ा विरोध करता है. उन्होंने साफ किया है कि राजनीतिवश बीजिंग शीतकालीन ओलंपिक खेलों की तैयारी और आयोजन को बाधित करने का ये प्रयास अच्छ नहीं है, ये बहुत ही ज्यादा गैर जिम्मेदाराना है. चीन का साफ कहना है कि इससे सभी देशों के एथलीटों और अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक के हितों को नुकसान पहुंच सकता है.