logo-image

पैसा कमाने का जरिया बना T20 क्रिकेट, खिलाड़ी होते हैं मालामाल

टी20 क्रिकेट, इंटरनेशनल सफलता पाने के बाद अब घरेलु क्रिकेट में भी बड़ी भूमिका निभा रही है. बीसीसीआई (BCCI) टी20 फॉर्मेट में आईपीएल का आयोजन कराती है. आईपीएल में खेलने वाले खिलाड़ी मालामाल हो जाते हैं.

Updated on: 11 Nov 2021, 11:58 PM

नई दिल्ली:

क्रिकेट (Cricket) में रोमांच लाने के साथ ही जल्द परिणाम मिल सके, इसके लिए आईसीसी (ICC) ने टी20 क्रिकेट की शुरुआत की. आईसीसी ने टेस्ट क्रिकेट (Test Cricket) और वनडे क्रिकेट (ODi) के बाद जब टी20 की शुरुआत की तो सभी क्रिकेट के इस नए फॉर्मेट को लेकर काफी उत्साहित थे. सभी देशों ने टी20 क्रिकेट को एक नए मुकाम तक पहुंचाया. साल 2007 में आईसीसी ने वनडे वर्ल्ड कप की तरह टी20 फॉर्मेट में भी वर्ल्ड कप का आयोजन किया. पहले ही वर्ल्ड कप में भारतीय टीम ने पाकिस्तान को हराकर टी20 में विश्व विजेता बनी. जो भारतीय टीम के लिए एक नये तरह का अनुभव था. वर्तमान में टी20 फॉर्मेट का सातवां वर्ल्ड कप खेला जा रही है. 

यह भी पढ़ें: T20 World Cup: आस्ट्रेलिया ने पाकिस्तान को 5 विकेट से हराकर फाइनल में ली एंट्री

टी20 वर्ल्ड कप का पहला आयोजन साल 2007 में दक्षिण अफ्रीका (South Africa) की सरजमी पर किया गया था. भारतीय टीम ने पाकिस्तान (Pakistan) को हराकर पहली विश्व विजेता बनी थी. इसके बाद टी20 विश्व कप का दूसरा आयोजन साल 2009 में इंग्लैंड की सरजमी पर किया गया था. वर्तमान में 7वां टी20 विश्व कप खेला जा रहा है. इससे पहले पाकिस्तान, इंग्लैंड, श्रीलंका और दो बार वेस्टइंडीज टी20 विश्व विजेता बन चुकी है. 

यह भी पढ़ें: IPL 2022: आईपीएल फ्रेंचाइजी के पास 90 करोड़ रुपये तो हैं पर खर्च करना नहीं है आसान, समझें पूरा गणित

टी20 क्रिकेट, इंटरनेशनल सफलता पाने के बाद अब घरेलु क्रिकेट में भी बड़ी भूमिका निभा रही है. बीसीसीआई (BCCI) टी20 फॉर्मेट में आईपीएल का आयोजन कराती है. आईपीएल लीग (IPL League) में खेलकर युवा खिलाड़ी अपनी प्रतिभा दिखाते हैं, और इंटरनेशनल खिलाड़ी बनते हैं. आईपीएल में खेलने वाले खिलाड़ी मालामाल हो जाते हैं. 

आईपीएल की सफलता के बाद बिग बैस लीग (Big Bass League), श्रीलंका प्रीमियर लीग (Sri Lanka Premier League), कैरेबियन प्रीमियर लीग (Caribbean Premier League) जैसे घरेलु प्रीमियर लीग की शुरुआत हुई. सभी देश के खिलाड़ी सभी लीग हिस्सा लेते हैं. फ्रेंचाइजी खिलाड़ियों को अपनी टीम में शामिल करने के लिए बोली लगाती हैं. जिससे खिलाड़ियों को सीधे फायदा होता है.