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BCCI अध्‍यक्ष सौरव गांगुली ने एमएस धोनी को लेकर कही बड़ी बात, बोले.....

भारतीय क्रिकेट टीम के कप्‍तान एमएस धोनी का आज जन्‍मदिन है. आज धोनी 39 साल के हो गए. इस मौके पर लोग उन्‍हें तरह तरह से बधाई और शुभकामनाएं दे रहे हैं.

Updated on: 07 Jul 2020, 03:37 PM

New Delhi:

Mahi BirthDay Special : भारतीय क्रिकेट टीम के कप्‍तान एमएस धोनी (MS Dhoni) का आज जन्‍मदिन है. आज धोनी 39 साल के हो गए. इस मौके पर लोग उन्‍हें तरह तरह से बधाई और शुभकामनाएं दे रहे हैं, लेकिन आज के इस खास मौके पर टीम इंडिया (Team India) के पूर्व कप्‍तान सौरव गांगुली (Sourav Ganguly) की बात आपको जरूर जाननी चाहिए. वह इसलिए क्‍योंकि जब धोनी ने साल 2004 (Dhoni Debut 2004) में अपने अंतरराष्‍ट्रीय करियर की शुरुआत की थी, तब सौरव गांगुली (Sourav Ganguly) यानी दादा (Dada) की कप्‍तान हुआ करते थे. शुरुआती कुछ मैचों में असफल रहने पर सौरव गांगुली ने अपनी नंबर तीन की पोजीशन उन्‍हें दी और उसके बाद धोनी (MS Dhoni) ने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा. आपको बता दें कि सौरव गांगुली पहले ओपनिंग करते थे, लेकिन बाद में उन्‍होंने अपनी जगह वीरेंद्र सहवाग को दे दी और नंबर तीन पर बल्‍लेबाजी करनी शुरू कर दी थी. अब जबकि धोनी 39 साल के हो गए हैं और वे टीम इंडिया के लिए नहीं खेल रहे हैं, तब सौरव गांगुली ही बीसीसीआई के अध्‍यक्ष हैं, धोनी अब आगे क्रिकेट खेलेंगे या नहीं, यह बहुत कुछ खुद धोनी पर निर्भर करेगा, वहीं इसके बाद नंबर सौरव गांगुली का ही आता है. 

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पूर्व भारतीय कप्तान और बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली का मानना है कि महेंद्र सिंह धोनी न केवल विश्व क्रिकेट में सर्वश्रेष्ठ फिनिशर हैं, बल्कि वह एक खतरनाक बल्लेबाज भी हैं, जिन्हें ऊपर बल्लेबाजी करना चाहिए. भारत के सर्वश्रेष्ठ कप्तानों में से एक एमएस धोनी मंगलवार को 39 साल के हो गए. एमएस धोनी ने सौरव गांगुली की कप्तानी में ही अपना अंतरराष्‍ट्रीय डेब्‍यू किया था. एमएस धोनी भारत के लिए अपनी कप्तानी में सभी आईसीसी खिताब जीतने वाले पहले कप्तान हैं. भारत के टेस्ट सलामी बल्लेबाज मयंक अग्रवाल के साथ बातचीत के दौरान जब सौरव गांगुली से पूछा गया कि आपके शब्द से माही भाई को भारतीय टीम में जगह मिली और बाकी सब इतिहास है. क्या यह मिथक है या वास्तविकता है? इस पर सौरव गांगुली ने जवाब देते हुए कहा, यह सच है, लेकिन यह मेरा काम नहीं है. यह हर कप्तान का काम है. सर्वश्रेष्ठ को चुनो और सर्वश्रेष्ठ टीम बनाओ. आप अपनी प्रवृत्ति से जाते हैं. आप उस खिलाड़ी के विश्वास पर चलते हैं जो आप पर विश्वास करेगा. मुझे खुशी है कि भारतीय क्रिकेट को महेंद्र सिंह धोनी मिला क्योंकि वह अविश्वसनीय है. वह दुनिया के महान फिनिशरों में से एक हैं.

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बीसीसीआई अध्‍यक्ष सौरव गांगुली ने कहा कि वह विश्व क्रिकेट में महान खिलाड़ियों में से एक हैं. केवल एक फिनिशर ही नहीं, मुझे लगता है कि हर कोई उस तरीके के बारे में बात करता है जिस तरह से वह नीचले क्रम में करता है. जब मैं कप्तान था तो उन्होंने नंबर तीन पर भी बल्लेबाजी की थी. उन्होंने विशाखापट्टनम में पाकिस्तान के खिलाफ 140 रन बनाए थे. मैं हमेशा मानता हूं कि उन्हें उपरीक्रम में बल्लेबाजी करनी चाहिए क्योंकि वह बेहद खतरनाक है. भारत के महान कप्तानों में गिने जाने वाले धोनी को विश्व क्रिकेट का सबसे बड़ा फिनिशर भी कहा जाता है. उन्हीं की कप्तानी में टीम ने टी-20 विश्व कप-2007 जीता और फिर 2011 में वनडे विश्व कप भी अपनी झोली में डाला वो भी 28 साल बाद.

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आपको बता दें कि एमएस धोनी ने साल 2004 में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में डेब्‍यू किया था. लेकिन शुरुआती कुछ पारियों में वे ज्‍यादा रन नहीं बना पाए, उसके बाद तब के कप्‍तान सौरव गांगुली ने उन्‍हें नंबर तीन पर बल्‍लेबाजी के लिए भेजा. इसके बाद श्रीलंका और पाकिस्तान के खिलाफ उन्‍होंने दो यादगार पारियां खेलीं, जिन्‍हें अभी भी याद रखा जाता है. धोनी ने पहले पाकिस्तान के खिलाफ 148 और फिर श्रीलंका के खिलाफ नाबाद 183 रन की पारी खेली थी. इन दोनों पारियों में धोनी ने ताबड़तोड़ अंदाज में बल्लेबाजी की थी. इनके बाद टीम में उनका सिक्का चल गया था. नंबर तीन पर खेलते हुए एमएस धोनी ने 82 की औसत से रन बनाए हैं. लेकिन धोनी नंबर तीन पर ज्‍यादा दिन तक नहीं खेले, और अपने करियर में ज्‍यादातर वक्‍त वे मध्‍यक्रम का ही हिस्‍सा रहे. चलिए आपको बताते हैं कि नंबर तीन पर खेलते हुए धोनी का रिकार्ड कैसा है. एमएस धोनी ने नंबर तीन पर बल्‍लेबाजी करते हुए कुल 16 वनडे खेले और 993 रन बनाए. इस दौरान उनका औसत 82 से ज्यादा और स्ट्राइक रेट 100 से ऊपर है. हालांकि धोनी ज्यादातर नंबर पांच और छह पर ही खेले. धोनी ने वनडे करियर में 10 हजार से ज्यादा रन बनाए हैं.

(एजेंसी इनपुट)