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कौन था अयमान अल-जवाहिरी? जिसने US समेत पूरी दुनिया में फैलाया आतंकवाद

अलकायदा का सरगना अयमान अल-जवाहिरी अमेरिकी खुफिया बलों के स्पेशल ऑपरेशन में मारा गया है. उसे ड्रोन हमले में सीआईए ने मार गिराया. अयमान अल-जवाहिरी दुनिया के सबसे कुख्यात और सबसे ज्यादा ईनामी राशि वाला व्यक्ति था. उसे अमेरिका में 9-11....

Updated on: 02 Aug 2022, 09:37 AM

highlights

  • खत्म हुई अयमान अल-जवाहिरी की कहानी
  • पूरी दुनिया में आतंक का पर्याय था जवाहिरी
  • ओसामा की मौत के बाद बना अलकायदा का चीफ

नई दिल्ली:

अलकायदा का सरगना अयमान अल-जवाहिरी अमेरिकी खुफिया बलों के स्पेशल ऑपरेशन में मारा गया है. उसे ड्रोन हमले में सीआईए ने मार गिराया. अयमान अल-जवाहिरी दुनिया के सबसे कुख्यात और सबसे ज्यादा ईनामी राशि वाला व्यक्ति था. उसे अमेरिका में 9-11 समेत दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में हमलों का मास्टरमाइंड माना जाता था. जवाहिरी की ताकत उसकी जानकारी और शिक्षा थी. वो खुद डॉक्टर था. आइए, बताते हैं दुनिया के इस सबसे दुर्दांत आतंकी अयमान अल-जवाहिरी के बारे में...

अयमान अल-जवाहिरी पैदा हुआ था मिस्र में. उसने दहशत फैलाई पूरी दुनिया में और जब मरा तो उसकी मौत का ऐलान भी जिसने किया, वो दुनिया का सबसे ताकतवर शख्स है. यानी अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन. वो तीन साल जेल में रहा था. ऐसा नहीं है कि जेल में रहने के बाद वो आतंकवादी बना. वो धार्मिक कट्टर शुरू से ही था. उसका जुड़ाव मिस्र के कट्टरपंथी संगठन मुस्लिम ब्रदरहुड से 14 साल की उम्र में ही हो गया. इसके बाद वो भले ही डॉक्टर बन गया हो, अरबी के साथ फ्रेंच भाषा बोल लेता हो. वो ताउम्र जेहाद की आड़ में दहशत फैलाता रहा. 

अपनी शादी में लिया था ऐसा फैसला

अलकायदा का सरगना अयमान अल-जवाहिरी 1951 में मिस्र के रईस परिवार में पैदा हुआ था. उसने उच्च शिक्षा भी प्राप्त की. वो सर्जन बना. लेकिन जब उसकी शादी में मेहमान बुलाए गए, वो भी हाई-प्रोफाइल. तभी उसने ऐलान करना दिया कि ये शादी शरिया के हिसाब से होगी. महिलाओं-पुरुषों को अलग-अलग रहना होगा. अपनी शादी-तक में जिस व्यक्ति ने महिला-पुरुष को एक साथ नहीं दिखने का आदेश दिया हो, वो पूरी दुनिया को बदलने चला था.

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27 साल की उम्र में शादी करने वाला अयमान अल-जवाहिरी मिस्र की सेकुलर सत्ता का सख्त आलोचक था. उसने 1970 के दशक में ही इजिप्टियन इस्लामिक जिहाद नाम का संगठन बनाकर आतंकी गतिविधियों को अंजाम देना शुरू कर दिया. उसने मिस्र में इस्लामिक हुकूमत के लिए खूब लड़ाई लड़ी. उसे 1981 में मिस्र के तत्कालीन राष्ट्रपति अनवर सादात की हत्या के बाद गिरफ्तार किया गया था. हालांकि वो तीन साल में छूट गया था. इसके साथ ही उसने अपना वतन भी छोड़ दिया.

2001 में अलकायदा में किया अपने संगठन का विलय

इसके बाद वो सउदी अरब आ गया. यहीं उसकी मुलाकात ओसामा बिन लादेन से हुई, जो दुनिया के शीर्ष अमीरों के परिवारों में से एक परिवार का था. यहीं से दोनों ने 1985 में पाकिस्तान के पेशावर का रुख किया. उसने 2001 में अपने संगठन का विलय अलकायदा में कर दिया और खुद नंबर दो बन बैठा. ओसामा को अमेरिका ने साल 2011 में मार गिराया तो वो खुद अलकायदा का चीफ बन गया और आज उसके खात्मे के साथ ही एक कहानी खत्म हो गई.