logo-image

US President Election लड़ेंगे ट्रंप! फिर सुर्खियों में कैपिटल हिल हिंसा

6 जनवरी 2021 को प्रेसिडेंट इलेक्शन के नतीजों पर अमेरिकी संसद ने मुहर लगा दी थी. इसके बाद ट्रंप के समर्थकों ने एक तरह से संसद पर ही हमला बोल दिया था. यह साल 1812 के युद्ध के बाद से कांग्रेस पर सबसे बड़ा हमला था.

Updated on: 31 Jan 2022, 03:05 PM

highlights

  • टेक्सास रैली को संबोधित करते हुए ट्रंप ने फिर अपने समर्थकों को भड़काया
  • न्यूयॉर्क के अटॉर्नी जनरल डोनाल्ड ट्रंप और उनकी प्रॉपर्टीज की जांच कर रहे हैं
  • अदालतों ने ट्रंप और उनकी पार्टी के तमाम केस और सारे दावे नकार दिए थे

नई दिल्ली:

डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका में अगला राष्ट्रपति चुनाव लड़ेंगे. पूर्व राष्ट्रपति ने आखिरकार साफ कर दिया है कि साल 2024 में होने वाले यूएस प्रेसिडेंट इलेक्शन में उतरने को लेकर वह अपना मन बना चुके हैं. इसके लिए तैयारियां शुरू करने के साथ ही उन्होंने अपने समर्थकों के लिए बड़ा चुनावी वादा कर दिया है. श्वेत अमेरिकियों में ट्रंप और रिपब्लिन पार्टी की गहरी पैठ मानी जाती है. ट्रंप ने रविवार को बड़ा बयान देते हुए कहा कि अगर वह दोबारा राष्ट्रपति चुने जाते हैं तो 6 जनवरी 2021 को अमेरिकी संसद (कैपिटल हिल) पर हमला करने वाले आरोपियों को माफी देने पर विचार करेंगे. 

मौजूदा अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन से पिछली बार डोनाल्ड ट्रंप हार गए थे. हालांकि वह अब तक आरोप लगाते रहे हैं कि पिछले राष्ट्रपति चुनाव में जमकर धांधली हुई थी और डेमोक्रेटिक पार्टी ने जनादेश की चोरी कर ली थी. अदालतों ने ट्रंप और उनकी पार्टी के तमाम केस समेत सारे दावे नकार दिए थे. 6 जनवरी 2021 को प्रेसिडेंट इलेक्शन के नतीजों पर अमेरिकी संसद ने मुहर लगा दी थी. इसके बाद ट्रंप के समर्थकों ने एक तरह से संसद पर ही हमला बोल दिया था. यह साल 1812 के युद्ध के बाद से कांग्रेस पर सबसे बड़ा हमला था. कैपिटल हिल पर भड़की हिंसा में एक पुलिस अफसर समेत पांच लोग मारे गए थे. इसकी वजह से 700 लोगों को गिरफ्तार किया गया और 11 पर देशद्रोह का आरोप लगा था. उन सभी पर केस की सुनवाई की जा रही है. कुछ आरोपियों को सजा भी सुनाई जा चुकी है.

टेक्सास रैली में खुलकर जाहिर किए इरादे

टेक्सास में रविवार को आयोजित एक रैली को संबोधित करते हुए ट्रंप ने एक बार फिर अपने समर्थकों को भड़काया. उन्होंने अपने इरादे जाहिर करते हुए समर्थकों- प्रशंसकों से साफ कहा कि साफ कहा कि अगर अटलांटा और न्यूयॉर्क के अधिकारी मेरे खिलाफ किसी भी तरह का कोई एक्शन लेते हैं तो उसका जमकर विरोध और प्रदर्शन करें. जांच करने वाले लोग किसी के इशारे पर काम कर रहे हैं और करप्ट हैं. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक न्यूयॉर्क के अटॉर्नी जनरल ट्रंप और उनकी प्रॉपर्टीज की जांच कर रहे हैं. आरोप है कि ट्रंप परिवार ने काफी धांधली की थी. यही वजह है कि ट्रंप को कानूनी कार्रवाई का डर सता रहा है. साथ ही वह मीडिया पर भी हमलावर हैं. ट्रंप ने कहा कि भ्रष्ट मीडिया हमारे देश को तबाह करने पर तुला हुआ है.

ट्रंप के भाषण को बताया या था जिम्मेदार

टेक्सास रैली में समर्थकों ने जो टी-शर्ट्स पहनीं थीं उन पर ट्रंप 2024 लिखा था. ट्रंप ने रैली में भरोसा दिलाया कि अगर मैं अगली बार फिर राष्ट्रपति चुनाव लड़ता और जीतता हूं तो मैं वादा करता हूं कि 6 जनवरी के दंगों के आरोपियों को माफी देने पर विचार करूंगा. मैं उनको इंसाफ दिलाऊंगा. उनके साथ भेदभाव किया जा रहा है. कैपिटल हिल हिंसा में करीब 140 पुलिसकर्मी घायल हो गए थे. डेमोक्रेटिक पार्टी ने दंगों के लिए ट्रंप को दोषी करार दिया था. पार्टी के नेताओं ने कहा था कि ट्रंप के भड़काऊ बयान दिए जाने की वजह से ही लोगों ने दंगा किया है.

बाइडेन को लेकर भी दिख रहा गुस्सा

अमेरिका के कई राज्यों में बाइडेन प्रशासन रिपब्लिकन पार्टी और ट्रंप के समर्थकों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है. न्यूजर्सी और वॉशिंगटन स्टेट में तो खासतौर पर उन्हें निशाना बनाया जा रहा है. कई दिनों के बाद लंबी चुप्पी तोड़ते हुए अब ट्रंप ने इसका जवाब दिया है. रविवार को टेक्सास में हुआ प्रदर्शन भी एक तरह से बाइडेन पर सियासी दबाव बनाने की कोशिश ही था. घरेलू मीडिया भी विदेश नीति के मुद्दे पर बाइडेन के खिलाफ सवाल उठा रहा है. खबरों में कहा जा रहा है कि जो बाइडेन चीन के खतरे को कम करके आंक रहे हैं. 

ये भी पढ़ें - न पीएम ट्रूडो लौटे-न ट्रक चालक टले, कनाडा में 'फ्रीडम' पर हंगामा क्यों

सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर ट्रंप बैन

पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव परिणामों के बाद फेसबुक, ट्विटर समेत सभी सोशल मीडिया प्लटफॉर्म से बैन कर दिया गया था. अभी तक उनपर लगा ये बैन नहीं हट पाया है. ट्रंप ने ट्विटर को लेकर एक बयान में कहा था कि उनके साथ भेदभाव हो रहा है. तालिबान को ट्विटर इस्तेमाल करने की अनुमति है लेकिन उन्हें नहीं. दूसरी और कैपिटल हिल हिंसा की जांच कर रही हाई पावर कमेटी ने कुछ समय पहले ही ट्विटर, मेटा, रेडिट और यूट्यूब को समन जारी किए थे. समिति ने सोशल नेटवर्किंग साइट से दस्तावेज देने को कहा था. कंपनियों के शुरुआती जवाब नाकाफी थे. इसके चलते उन्हें समन जारी किया गया.