logo-image

अब मोबाइल डिवाइस से हो पाएगी iris tracking, Google ने दी जानकारी

गूगल (Google)ने मोबाइल डिवाइस पर पर रियल टाइम आईरिस ट्रैकिंग और गहराई के आकलन के लिए एक नया समाधान जारी किया है. मशीन लर्निंग मॉडल मीडियापाइप आइरिस, सटीक आईरिस अनुमान के लिए डिजाइन किया गया है.

Updated on: 18 Aug 2020, 03:01 PM

नई दिल्ली:

गूगल (Google)ने मोबाइल डिवाइस पर पर रियल टाइम आईरिस ट्रैकिंग और गहराई के आकलन के लिए एक नया समाधान जारी किया है. मशीन लर्निंग मॉडल मीडियापाइप आइरिस, सटीक आईरिस अनुमान के लिए डिजाइन किया गया है. गूगल ने एक ब्लॉग पोस्ट में कहा कि एक ही आरजीबी कैमरे का उपयोग करके आईरिस, पुतली और आंखों के स्थलों को ट्रैक कर सकता है.

और पढ़ें: व्हाट्सएप के प्रतिद्वंद्वी एप्प टेलीग्राम ने भी शुरू किया वीडियो कॉल फीचर

कंपनी ने आगे बताया कि मोबाइल डिवाइस और अन्य कारकों पर सीमित कंप्यूटिंग क्षमता के कारण, जिसमें वैरिएबल लाइट कंडीशन और लोगों को स्क्विंट करना शामिल है, आईरिस ट्रैकिंग चुनौतीपूर्ण हो सकता है. Google ने कहा कि लगभग 50 हजार इमेज, विभिन्न प्रकार की रोशनी की स्थितियों और भौगोलिक रूप से विविध क्षेत्रों के प्रमुख क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व करती थी.

कंपनी का दावा है कि मीडियापाइप आइरिस मॉडल कैमरे की फोकल लंबाई का उपयोग करके चेहरे की जगहों से 10 प्रतिशत से कम की त्रुटि के साथ यूजर्स और कैमरे के बीच की दूरी का आकलन करने में सक्षम है. यह मॉडल इस तथ्य पर भी निर्भर करता है कि एक व्यापक आबादी में मानव आंख का हॉरिजेंटल आईरिस डायमीटर लगभग 11.7 मिमी (wide 0.5) पर स्थिर रहता है.