Advertisment

मासिक शिवरात्रि और राजप्रद योग में नव वर्ष की शुरुआत, जानें क्या है शुभ मुहुर्त

हर माह में कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मासिक शिवरात्रि मनाई जाती है. मासिक शिवरात्रि पर पूरी विधि-विधान के साथ भगवान शंकर और माता पार्वती की पूजा-अर्चना की जाती है.

author-image
Vijay Shankar
New Update
masik shivratri

masik shivratri ( Photo Credit : File Photo)

Advertisment

हिंदू धर्म में मासिक शिवरात्रि का सबसे अधिक महत्व है. ऐसे में नव वर्ष 2022 की शुरुआत मासिक शिवरात्रि और राजप्रद योग में हुई है. एक जनवरी को पौष मास की मासिक शिवरात्रि है. मासिक शिवरात्रि पर रात्रि में पूजा का विशेष महत्व होता है. मासिक शिवरात्रि पर भगवान शंकर की पूजा-अर्चना करने से सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं और भगवान शंकर की विशेष कृपा प्राप्त होती है. हर माह में कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मासिक शिवरात्रि मनाई जाती है. मासिक शिवरात्रि पर पूरी विधि-विधान के साथ भगवान शंकर और माता पार्वती की पूजा-अर्चना की जाती है. जानते हैं मासिक शिवरात्रि की पूजा-विधि और शुभ मुहूर्त की पूरी जानकारियां. 

यह भी पढ़ें : एक जनवरी से कर लें ये उपाय, शनि दोष से मिलेगी छुटकारा

-इस पावन दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि से निवृत्त होने के बाद साफ- स्वच्छ वस्त्र धारण कर लें 
-घर के मंदिर में दीप प्रज्वलित करें 
-शिवलिंग का गंगा जल, दूध, आदि से अभिषेक करें 
-भगवान शिव के साथ ही माता पार्वती की पूजा अर्चना भी करें 
-भगवान गणेश की पूजा अवश्य करें. किसी भी शुभ कार्य से पहले भगवान गणेश की पूजा- अर्चना की जाती है 
-भोलेनाथ का अधिक से अधिक ध्यान करें 
-ऊॅं नम: शिवाय मंत्र का जप करें 
-भगवान भोलेनाथ को भोग लगाएं. इस बात का ध्यान रखें कि भगवान को सिर्फ सात्विक चीजों का भोग लगाया जाता है 
-भगवान की आरती करना न भूलें

HIGHLIGHTS

  • एक जनवरी को पौष मास की मासिक शिवरात्रि है
  • मासिक शिवरात्रि पर रात्रि में पूजा का विशेष महत्व होता है
  • हर माह कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मासिक शिवरात्रि मनाई जाती है

Source : News Nation Bureau

राजप्रद योग भगवान शंकर मासिक शिवरात्रि New Year Auspicious Time Rajprad Yoga shivratri न्यू ईयर कृष्ण पक्ष hinduism
Advertisment
Advertisment
Advertisment