Basant Panchami Tulsi Puja: हिंदू धर्म शास्त्रों में बसंत पंचमी के दिन स्नान के बाद तुलसी पूजा का विशेष महत्व बताया गया है. बसंत पंचमी का पर्व माँ सरस्वती की आराधना के साथ-साथ तुलसी पूजन के लिए भी शुभ माना जाता है. इस दिन तुलसी की पूजा करने से घर में सुख, शांति और समृद्धि बनी रहती है. साथ ही यह व्रत-पूजा ग्रह दोषों और आर्थिक समस्याओं को भी दूर करने में सहायक मानी जाती है.
बसंत पंचमी के दिन पूजा का शुभ मुहूर्त
वसन्त पञ्चमी के दिन तुलसी पूजा और सरस्वती पूजा का मुहूर्त सुबह 07 बजकर 09 मिनट से से दोपहर 12 बजकर 35 मिनट का है. इस 05 घंटे 26 मिनट की अवधि में पूजा करना शुभ माना जाएगा.
तुलसी पूजा की विधि
सुबह ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नान करके पीले वस्त्र धारण करें और स्वच्छ भाव से तुलसी माता की पूजा करें. तुलसी के पौधे के चारों ओर गंगाजल या पवित्र जल का छिड़काव करने के बाद आप तुलसी पर हल्दी-गुड़ चढ़ाएं, इसके बाद कुमकुम अर्पित करें. गुड़ चढ़ाने से माँ लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं और आर्थिक समृद्धि का आशीर्वाद देती हैं.
तुलसी के सामने गाय के घी का दीपक जलाएं, जिससे घर में सकारात्मक ऊर्जा बनी रहती है. संध्या के समय भी दीपक जलाना शुभ होता है. तुलसी माता को सुपारी और पीले फूल अर्पित करें, क्योंकि पीला रंग बसंत पंचमी का शुभ रंग माना जाता है.
बसंत पंचमी के दिन तुलसी माता की पूजा के दौरान ॐ तुलस्यै नमः मंत्र का 108 बार जाप करें. इसके अलावा, आप ॐ श्रीं ह्रीं सरस्वत्यै नमः का जाप भी कर सकते हैं. पूजा के बाद आप भगवान विष्णु की प्रिय तुलसी माता की परिक्रमा करके उन्हें भोग लगाएं. शास्त्रों के अनुसार, भगवान विष्णु का ध्यान तुलसी के पौधे की 11 या 21 बार परिक्रमा करनी चाहिए. प्रसाद में मीठे चावल, गुड़ या पीली मिठाई चढ़ाएं. धर्म शास्त्रों के अनुसार बसंत पंचमी के दिन भगवान विष्णु और मां सरस्वती को तुलसी दल चढ़ाने से विशेष पुण्य की प्राप्ति होती है.
इस दिन तुलसी पूजन से घर में सुख-शांति और समृद्धि आती है. आर्थिक समस्याएं दूर होती हैं और धन लाभ के योग बनते हैं. घर में सकारात्मक ऊर्जा बनी रहती है और नकारात्मक शक्तियों का नाश होता है. भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की विशेष कृपा प्राप्त होती है. इस बसंत पंचमी, तुलसी माता की विधि-विधान से पूजा करें और अपने जीवन में धन-वैभव, सुख-शांति और आध्यात्मिक उन्नति का आशीर्वाद प्राप्त करें.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)