Thyroid during pregnancy : गर्भवती महिला को थायराइड होने से मां और गर्भ में पल रहे शिशु दोनों को कई तरह की स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं. प्रेग्नेंसी में थायरॉइड हार्मोन का स्तर बढ़ना या घटना खतरनाक हो सकता है. अगर इसे कंट्रोल में न रखा जाए तो इससे गर्भपात (abortion) तक हो सकता है. इससे बचने के लिए गर्भवती महिला को समय-समय पर जांच करवाकर डॉक्टर की सलाह पर इसे नियंत्रित रखना चाहिए. गर्भवती महिला को थायराइड होने से क्या होता है? या फिर प्रेग्नेंसी में थायराइड (Thyroid) कितना खतरनाक होता है? आइए जानते हैं इसके बारे में.
प्रेग्नेंसी में थायराइड होना
महिला रोग विशेषज्ञ डॉ सीमा उपाध्याय बताती हैं प्रेग्नेंसी में थायराइड की समस्या गर्भवती के लिए विशेष रूप से चिंता का विषय हो सकती है. प्रेग्नेंसी में महिलाओं में हाइपरथायरॉयडिज्म यानि थायराइड हार्मोन का अधिक उत्पादन भी देखने को मिलता है. वहीं हाइपोथायरायडिज्म यानि थायराइड हार्मोन का कम उत्पादन की भी समस्या होती है. ये दोनों ही खतरनाक हो सकती है.
गर्भपात का खतरा: प्रेग्नेंसी के पहले तिमाही में हाइपरथायरॉयडिज्म का पता नहीं चलने पर गर्भपात का खतरा बढ़ सकता है.
प्री-एक्लेमप्सिया: प्रेग्नेंसी में उच्च रक्तचाप और मूत्र में प्रोटीन के मात्रा बढ़ने के साथ थायराइड होने पर मां और शिशु दोनों के लिए खतरनाक हो सकता है.
अविकसित भ्रूण: हाइपरथायरॉयडिज्म (थायराइड हार्मोन का कम उत्पादन) से भ्रूण के विकास में रुकावट आ सकती है.
प्रेग्नेंसी में ये लक्षण दिखने पर हो जाएं सावधान
थायरॉइड की समस्या होने पर आमतौर पर वजन बढ़ने या घटने,
लगातार थकान रहना
दिल की धड़कन में असामान्यता
ज्यादा ठंड लगना
अत्यधिक पसीना आना
घबराहट और चिंता
नींद की कमी
त्वचा का सूखापन
बालों का झड़ना जैसे लक्षण नजर आते हैं.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. News Nation इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
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