दाल से लेकर हर सब्जी में हींग का तड़का जरूर लगाया जाता है. हींग खाने में ना सिर्फ महक बढ़ाता है बल्कि यह हेल्थ के लिए भी काफी अच्छा माना जाता है. वहीं हींग पाचन के लिए भी बेहतर मानी जाती है. लेकिन इन दिनों मार्केट में मिलावट वाली हींग काफी मिल रही है. जिसमें महक तो होती है लेकिन यह सेहत के लिए फायदेमंद नहीं बल्कि नुकसानदायक होती है.ऐसे में कुछ खास तरह से असली हींग की पहचान की जाती है. आइए आपको बताते है.
मिलावटी हींग की पहचान
मिलावटी हींग में कई बार सिंथेटिक कलर और महक मिलाई जाती है. जिसकी वजह से एलर्जिक रिएक्शन और गेस्ट्रोइंटेस्टाइनल इशू हो सकते हैं. इन सब समस्याओं से बचने के लिए भी मिलावटी हींग की पहचान करना जरूरी है. रिपोर्ट के मुताबिक हींग में सबसे ज्यादा चॉक पाउडर, रेड क्ले, मेज कॉब, जिप्सम और स्टार्च की मिलावट की जाती है.
शुद्ध हींग की होती है ये पहचान
ये सारी चीजें आसानी से हींग में घुल जाती हैं और उसके अथेंटिक महक और स्वाद पर असर नहीं डालती है. इन चीजों की मिलावट से हींग की महक और स्वाद फीकी पड़ जाती है. शुद्ध हींग की महक बहुत तेज होती है और साथ ही इसका स्वाद बेहद कड़वा होता है. राई के दाने से भी कम मात्रा जीभ पर रखने से आपको कड़वेपन का एहसास बहुत तेज होगा.
आसानी से घुल जाती
शुद्ध हींग बड़े ही आसानी से पानी में घुल जाती है और एक भी कण बाकी नहीं रह जाता है. राई के दाने जितने कण को भी घोलने पर महक पानी में आने लगती है. शुद्ध हींग बिल्कुल गीली गूंथे हुए आटे जैसी होती है.
हींग का कलर
जो हवा लगने और समय के साथ कड़क हो जाती है. उंगलियों पर जरा से रगड़ने से ही पूरे हाथ में हींग की महक देर तक आती रहती है. शुद्ध हींग का कलर लाइट ब्राउन या पीलापन लिए होगा. इसमे मिलावट के बाद हींग सफेद या भूरे रंग की दिखने लगती है.
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