राजनाथ ने लद्दाख में सैन्य अभ्यास देखने के बाद कहा-थलसेना की मारक क्षमता और प्रचंडता देखी
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) ने शुक्रवार को लद्दाख में ऊंचाई वाले एक अग्रिम अड्डे पर सैन्य अभ्यास देखा जिसमें युद्धक हेलीकॉप्टरों, टैंकों के साथ कमांडो भी शामिल हुए.
लद्दाख:
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) ने शुक्रवार को लद्दाख में ऊंचाई वाले एक अग्रिम अड्डे पर सैन्य अभ्यास देखा जिसमें युद्धक हेलीकॉप्टरों, टैंकों के साथ कमांडो भी शामिल हुए. सैन्य अभ्यास में थल सेना और वायु सेना ने क्षेत्र में तैयारियों का प्रदर्शन किया. क्षेत्र में भारत और चीन तीखे सीमा गतिरोध में उलझे हुए हैं। सैन्य अभ्यास में बड़ी संख्या में कमांडो, टैंक, बीएमपी युद्धक वाहनों, अपाचे, रुद्र और एमआई -17 वी5 जैसे हेलीकॉप्टरों ने भाग लिया.
जवानों ने रक्षा मंत्री सिंह की मौजूदगी में पैरा ड्रॉपिंग और अन्य करतबों का प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रमुख रक्षा अध्यक्ष जनरल बिपिन रावत और थलसेना प्रमुख जनरल एमएम नरवणे भी मौजूद थे. राजनाथ सिंह ने बाद में ट्वीट किया, ‘लेह के पास स्ताकना में आज पैरा ड्रॉपिंग और सैन्य प्रदर्शनों के दौरान भारतीय थलसेना की मारक क्षमता और प्रचंडता देखी.’
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उन्होंने कहा, ‘इसके अलावा, मुझे उनके साथ बातचीत का अवसर मिला. मुझे इन बहादुर सैनिकों पर गर्व है.' उन्होंने सैन्य कर्मियों के साथ अपनी बातचीत की तस्वीरें भी पोस्ट कीं.
Witnessed the Fire and Fury of the Indian Army during the Para Dropping and other military demonstrations at Stakna near Leh today.
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) July 17, 2020
Also, I got the opportunity to interact with them. I am proud of these brave and courageous soldiers. pic.twitter.com/WYJzx6z6Sh
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सिंह एक दिवसीय दौरे पर सुबह लद्दाख पहुंचे. रक्षा मंत्री के साथ जनरल रावत और जनरल नरवणे भी आए हैं. पूर्वी लद्दाख में पांच मई से भारत और चीन के सैनिकों के बीच गतिरोध चल रहा है. गलवान घाटी में दोनों देशों के सैनिकों के बीच हुई झड़प में भारत के 20 सैन्यकर्मियों के शहीद हो जाने के बाद यह तनाव बहुत अधिक बढ़ गया. हालांकि कई दौर की राजनयिक एवं सैन्य बातचीत के बाद छह जुलाई से दोनों ओर के सैनिक पीछे हटने लगे.
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