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भारत- चीन विवाद को लेकर राहुल गांधी का मोदी सरकार पर 10 बड़े हमले, एक नजर में यहां पढ़ें

भारत और चीन के बीच तनाव बरकरार है. गलवान घाटी में हिंसक झड़प के बाद पूरे देश में रोष का माहौल है. वहीं कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) इसे लेकर लगातार मोदी सरकार (Modi Government) पर हमलावर हैं.

Updated on: 24 Jun 2020, 04:06 PM

नई दिल्ली:

भारत और चीन के बीच तनाव बरकरार है. गलवान घाटी में हिंसक झड़प के बाद पूरे देश में रोष का माहौल है. वहीं कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) इसे लेकर लगातार मोदी सरकार (Modi Government) पर हमलावर हैं. पिछले कुछ दिनों से वो सिलसिलेवार तरीके से केंद्र सरकार को निशाने पर ले रहे हैं. हालांकि उनका जवाब बीजेपी भी पूरजोर तरीके से दे रही है.

राहुल गांधी की मोदी सरकार पर पहला हमला

राहुल गांधी ने 23 जून को केंद्र सरकार से पूछा कि चीन ने हमारी जमीन ले ली. भारत इसे लेने के लिए बातचीत कर रहा है. चीन कह रहा है कि यह (उसके कब्जे वाली) भारतीय जमीन नहीं है. प्रधानमंत्री ने चीन के दावे का सार्वजनिक रूप से समर्थन किया. प्रधानमंत्री हमारी सेना के बजाय चीन का समर्थन क्यों कर रहे हैं?

राहुल गांधी का मोदी सरकार पर दूसरा हमला

राहुल गांधी ने इससे पहले सीडब्ल्यूसी की बैठक में भी मोदी सरकार पर चीन को लेकर वार किया था. राहुल गांधी ने कहा था कि चीन ने बड़ी ढिठाई से हमारे क्षेत्र पर कब्जा कर लिया है. प्रधानमंत्री ने चीन के इस रुख को स्वीकार करके हमारे रुख को नष्ट कर दिया. पीएम मोदी ने हमारी सेना के साथ विश्वासघात किए कि कोई भारतीय क्षेत्र उनके कब्जे में नहीं है.

राहुल गांधी ने आगे कहा था कि चीन ने हमारी भूमि पर कब्जा करके निकल जाने की अनुमति नहीं दी जा सकती है. यह सुनिश्चित करने के लिए सब कुछ किया जाना चाहिए कि हमारे जवानों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाए.

राहुल गांधी की चीन को लेकर मोदी सरकार पर तीसरा हमला

इसके साथ की कांग्रेस नेता ने 22 जून को ट्वीट करके फिर से पीएम मोदी को निशाने पर लिया था. राहुल गांधी ने कहा कि चीन ने हमारे सैनिकों को मारा और जमीन छीन ली. आखिर इस टकराव के समय चीन हमारे प्रधानमंत्री की तारीफ क्यों कर रहा है? राहुल गांधी ने एक खबर की कटिंग को शेयर करते हुए ये बात पूछी थी.

राहुल गांधी का पीएम मोदी पर चौथा हमला

चीन विवाद पर राहुल गांधी ने 21 जून को फिर से मोदी को घेरा था. राहुल गांधी ने कहा, 'नरेंद्र मोदी असल में सरेंडर मोदी हैं.' राहुल गांधी ने जापान टाइम्स के एक लेख को साझा करते हुए ये बात कही. जापान टाइम्स में भारत की मौजूदा नीति को चीन की तुष्टीकरण वाला बताया गया है.

राहुल गांधी का पांचवां हमला

इससे पहले भारत के 20 जवान शहीद होने पर राहुल गांधी ने मोदी सरकार से पूछा था कि प्रधानमंत्री मोदी के इसी बयान पर राहुल गांधी ने सवाल किया था और पूछा था कि अगर वह जमीन चीन की थी, जहां भारतीय जवान शहीद हुए तो हमारे सैनिकों को क्यों मारा गया? उन्हें कहां मारा गया?

राहुल गांधी का मोदी सरकार पर छठा हमला

19 जून को राहुल गांधी ने गलवान हिंसक हमले पर कहा था कि यह पूरी तरह साफ है कि गलवान घाटी में चीन का हमला पूर्व नियोजित था. सरकार सो रही थी और समस्या से इनकार किया. हमारे शहीद जवानों को इसकी कीमत चुकानी पड़ी.

राहुल गांधी का सातवां बड़ा हमला मोदी सरकार पर

17 जून को राहुल गांधी ने राजनाथ सिंह के ट्वीट पर सवाल पूछे. राहुल गांधी ने कहा कि अगर यह शहादत बहुत दर्दनाक है तो आपने अपने ट्वीट में चीन का नाम क्यों नहीं लिया? दुख जताने में दो दिन का समय क्यों लगा? जब हमारे जवान शहीद हो रहे थे तो क्यों रैलियां संबोधित कर रहे थे? आप क्यों छिप गए? पेड मीडिया सरकार की बजाए आर्मी को दोष क्यों दे रही है?

राहुल गांधी का आठवां बड़ा हमला

17 जून को ही राहुल गांधी ने एक और ट्वीट करके मोदी सरकार पर वार किया. राहुल गांधी ने पूछा कि पीएम चुप क्यों हैं. क्यों वो छुपा रहे हैं. बहुत हो गया हमें जानने की जरूरत है कि क्या हुआ था. चीन की ऐसी हिम्मत की वो हमारे जवानों को मार दे. चीन ने हमारे सैनिकों को मारने की हिम्मत कैसे की? हमारी जमीन लेने की उनकी हिम्मत कैसे हुई?

राहुल गांधी का 9वां बड़ा हमला

गलवान हिंसा से पहले भी राहुल गांधी ने 10 जून को एक अखबार की रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा था कि चीनी लद्दाख में हमारे क्षेत्र में चले गए हैं. इस दौरान पीएम बिल्कुल चुप हैं और घटनास्थल से गायब हो गए हैं.

राहुल गांधी का 10वां हमला

राहुल गांधी ने अमित शाह के बयान को ट्वीट करके शायराना अंदाज में मोदी सरकार पर हमला बोला था. 8 जून को राहुल गांधी ने कहा था कि सब को मालूम है ‘सीमा’ की हक़ीक़त लेकिन, दिल के ख़ुश रखने को, ‘शाह-यद’ ये ख़्याल अच्छा है.

दरअसल, अमित शाह ने कहा था कि भारत की रक्षा नीति को वैश्विक स्वीकृति मिली है. पूरी दुनिया इस बात से सहमत है कि यदि कोई अन्य देश अपनी सीमाओं की रक्षा करने में सक्षम है, तो संयुक्त राज्य अमेरिका और इज़राइल के बाद, यह भारत है.