ममता को एक और झटका! बीरभूम सांसद शताब्दी रॉय के तेवर बगावती

शताब्दी रॉय ने अपनी फेसबुक पोस्ट के जरिये संदेश दिया है कि वह अपने राजनीतिक कैरियर को लेकर 16 जनवरी दोपहर 2 बजे तक बड़ा फैसला ले सकती हैं.

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Nihar Saxena
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Satabdi Roy

कूट फेसबुक पोस्ट से शताब्दी रॉय ने दिखाए बगावती तेवर.( Photo Credit : न्यूज नेशन)

भारतीय जनता पार्टी (BJP) के राष्ट्रीय महासचिव और पश्चिम बंगाल के प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय ने मकर संक्रांति के मौके पर तृणमूल कांग्रेस (TMC) के 41 विधायकों समेत कई सांसदों के बीजेपी के प्रति झुकाव को लेकर बयान दिया था. उन्होंने बेलौस कहा था कि सूबे की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamta Banerjee) विधानसभा चुनाव आते-आते अकेली रह जाएंगी. अब लगता है कि ममता बनर्जी को अगला बड़ा झटका टीएमसी सांसद और अभिनेत्री शताब्दी रॉय को लेकर लगने वाला है. बीरभूम से सांसद शताब्दी रॉय ने अपनी फेसबुक पोस्ट के जरिये संदेश दिया है कि वह अपने राजनीतिक कैरियर को लेकर 16 जनवरी दोपहर 2 बजे तक बड़ा फैसला ले सकती हैं.

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पार्टी नेताओं पर नीचा दिखाने का आरोप
बीरभूम की टीएमसी सांसद शताब्‍दी रॉय ने एक फेसबुक पोस्‍ट के जरिए संकेत दिया है कि पार्टी में कुछ लोग उन्‍हें नीचा दिखाने में लगे हैं. उन्होंने कहा, 'लोग मुझसे पूछते हैं कि मैं बीरभूम में होने वाले पार्टी के कार्यक्रमों में क्‍यों नहीं दिखाई देती. मैं कैसे शामिल होऊं जब मुझे उनका शेड्यूल ही पता नहीं रहता? मुझे लगता है कि कुछ लोग नहीं चाहते कि मैं वहां रहूं.' इसके साथ ही शताब्दी रॉय ने संकेत दिए हैं कि16 जनवरी दोपहर 2 बजे तक वह कोई धमाका कर सकती हैं. अगर ऐसा होता है तो ममता बनर्जी के लिए यह एक और बड़ा झटका होगा. इसकी एक वजह तो यही है कि शताब्दी रॉय ममता की बेहद करीबी नेताओं में शुमार होती हैं.

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अनबन की जड़ में विकास निधि खर्च
शताब्‍दी राय ने 2009 में टीएमसी के टिकट पर बीरभूम से लोकसभा चुनाव लड़ा और विजयी हुईं. बाद में वह 2014 और 2019 में भी यहीं से चुनाव जीतीं. सूत्रों का कहना है कि जब से शताब्‍दी रॉय ने सांसद विकास निधि का पैसा जनता में बांटा है स्‍थानीय नेता उनसे नाराज हैं. नाराजगी की वजह यह है कि ऐसा करते समय उन्‍होंने विकास कार्यों का चुनाव करते समय पार्टी की राय नहीं ली. यह नाराजगी इस हद तक है कि 2019 के लोकसभा चुनावों के बाद बीरभूम सांसद शायद ही जिले में आयोजित पार्टी के किसी कार्यक्रम में दिखाई दी. आखिरी बार उन्‍हें 28 दिसंबर को सीएम ममता बनर्जी की बीरभूम में आयोजित रैली में देखा था.

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विजयवर्गीय ने मकर संक्रांति पर दिए थे संकेत 
जाहिर है शताब्दी रॉय ने अपनी फेसबुक पोस्ट से बगावती तेवर दिखा दिए हैं. ऐसे में कैलाश विजयवर्गीय के बयान से इसे जोड़ कर देखा जा रहा है. आसन्न विधानसभा चुनाव से पहले एक के बाद एक झटके ममता बनर्जी को लग रहे हैं. बीते दिनों टीएमसी के ही सांसद और ममता बनर्जी के खास सिपहसालार रहे सुवेंदु अधिकारी समेत कई विधायकों ने बीजेपी का दामन थामा था. इसके बाद हाल ही में ममता सरकार से खेलमंत्री लक्ष्मी रतन शुक्ला ने इस्तीफा दे दिया था. ऐसे में चुनाव से पहले ही बंगाल का सियासी माहौल बेहद गर्मा चुका है.

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