India-China Diplomatic Talk: भारत का चीन को दो टूक, कहा- LAC का सख्ती से सम्मान करे ड्रैगन
पूर्वी लद्दाख में पैदा हुई स्थिति को लेकर भारत-चीन के बीच बातचीत चल रही है. विदेश मंत्रालय ने बताया कि भारत-चीन ने सीमावर्ती क्षेत्र में विशेष रूप से पूर्वी लद्दाख में स्थिति पर विस्तार से चर्चा की.
नई दिल्ली:
भारत और चीन (India China) के बीच मंगलवार को कूटनीतिक स्तर पर प्रतिनिधिमंडल के बीच बातचीत हुई. इस दौरान भारत की तरफ से सख्त लहजे में चीन को कहा गया है कि वो एलएसी का सम्मान करे. भारत की तरफ से भी एलएसी का सम्मान किया जाता रहा है. दोनों देशों के बीच हुई बातचीत की जानकारी देते हुए विदेश मंत्रालय ने बताया कि भारत-चीन ने सीमावर्ती क्षेत्र में विशेष रूप से पूर्वी लद्दाख में स्थिति पर विस्तार से चर्चा की. भारत ने चीन को पूर्वी लद्दाख में हाल के घटनाक्रमों पर अपनी चिंता से अवगत कराया. भारत ने 15 जून को गलवान घाटी क्षेत्र में हिंसा (Galwan Valley clash) को लेकर भी नाराजगी जताई.
विदेश मंत्रालय ने आगे बताया कि दोनों देशों ने राजनयिक और सैन्य दोनों स्तरों पर बातचीत को लेकर सहमति जताई. जो मौजूदा स्थिति को शांति से हल करने के लिए भारत-चीन सीमा मामलों पर परामर्श और समन्वय के लिए कार्य तंत्र के ढांचे के तहत शामिल है.
it was emphasised that India-China should strictly respect and observe the line of actual control: MEA https://t.co/Ia0Ww2o1vG
— ANI (@ANI) June 24, 2020
प्रोटोकॉल के अनुसार सीमा पर शांति सुनिश्चित करने की कोशिश
विदेश मंत्रालय ने आगे जानकारी दी कि दो प्रतिनिधिमंडलों ने सहमति जाहिर की कि इस समझ का कार्यान्वयन द्विपक्षीय समझौतों और प्रोटोकॉल के अनुसार सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति सुनिश्चित करने और व्यापक संबंध दोनों देशों के बीच मजबूत करने में मदद करेगा.
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एलएसी का सम्मान करने पर दोनों देशों का जोर
वहीं, दोनों देशों में बातचीत के दौरान इस बात पर भी जोर दिया गया कि भारत-चीन वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) का सम्मान और निरीक्षण करेंगे.विदेश मंत्रालय ने साफ कर दिया है कि 6 जून को कमांडर स्तर की बैठक में जो बातें तय हुईं थीं दोनों ही पक्षों को वो बातें माननी चाहिए. दोनों देशों को ईमानदारी से इसका पालन करना चाहिए.
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पहली बार जून में कूटनीतिक स्तर पर हुई चर्चा
बता दें कि भारत और चीन के बीच 5 मई के बाद से ही तनावपूर्ण माहौल बना हुआ है. तनाव कम करने के लिए लगातार सैन्य बैठके हो रही हैं लेकिन फिलहाल अभी तक कोई ठोस सुधार होता नहीं दिखा. वहीं पहली बार दोनों देशों के बीच कूटनीतिक चर्चा हुई.भारत की ओर से विदेश मंत्रालय के पूर्व एशिया के जॉइंट सेकेट्री नवीन श्रीवास्तव और चीन विदेश मंत्रालय के महानिदेशक वू जियांगहो ने हिस्सा लिया। जून में पहली बार दोनों देशों के बीच कूटनीतिक चर्चा हुई है.
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