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अमरावती में जमीन हड़पने के मामले में चंद्रबाबू नायडू के खिलाफ FIR

सीआईडी ने कथित तौर पर राज्य की राजधानी अमरावती में दलित समुदाय से जमीन हड़पने के एक मामले में नायडू सहित एक पूर्व कैबिनेट मंत्री के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है.

Updated on: 16 Mar 2021, 10:35 PM

highlights

  • दलित समुदाय से जमीन हड़पने के एक मामले में नायडू के खिलाफ FIR दर्ज
  • पूर्व राज्य मंत्री पोंगुरु नारायण के खिलाफ भी कार्रवाई की गई है
  • नायडू और नारायण पर एससी और एसटी के तहत भी मामला दर्ज किया गया है

अमरावती:

अपराध जांच विभाग (सीआईडी) की ओर से तेलुगु देशम पार्टी (तेदेपा) सुप्रीमो और आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री नारा चंद्रबाबू नायडू को एक बड़ा झटका मिला है. सीआईडी ने कथित तौर पर राज्य की राजधानी अमरावती में दलित समुदाय से जमीन हड़पने के एक मामले में नायडू सहित एक पूर्व कैबिनेट मंत्री के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है. इसके अलावा पूर्व राज्य मंत्री पोंगुरु नारायण के खिलाफ कार्रवाई की गई है, जो शिक्षण संस्थानों के नारायण समूह के मालिक हैं. जब नायडू मुख्यमंत्री थे, तब नारायण ने आंध्र नगर प्रशासन और शहरी विकास मंत्री के रूप में कार्य किया था.

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24 फरवरी को मंगलगिरी के विधायक अल्ला रामकृष्ण रेड्डी ने सीआईडी के अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (एडीजीपी) पी. वी. सुनील कुमार को एक लिखित शिकायत दी थी, जिसमें कहा गया है कि उनके निर्वाचन क्षेत्र के कुछ किसानों ने उन्हें पिछली चंद्रबाबू नायडू सरकार द्वारा कथित रूप से धोखा दिए जाने के बारे में बताया है.

एफआईआर में रेड्डी ने कहा कि उनके निर्वाचन क्षेत्र के कुछ किसानों ने शिकायत की कि तत्कालीन सरकार के कुछ लोगों ने निर्दोष किसानों को उनकी जमीनों को लेकर असुरक्षा और संशय की स्थिति में रखकर अवैध तरीके से उनकी भूमि लेकर धोखाधड़ी की. इस षड्यंत्र में शामिल बिचौलियों ने झूठ कहा कि सरकार कोई भी मुआवजा दिए बिना उनकी जमीन लेने जा रही है.

एफआईआर ने कहा गया है, "शिकायतकर्ता ने राज्य सरकार द्वारा जारी किए गए सरकारी आदेशों (जीओएस) का सत्यापन किया और पाया कि उत्तरदाताओं द्वारा कई अनियमितताएं की गईं और अनुसूचित जातियों (एससी) और अनुसूचित जनजातियों (एसटी) समुदाय के साथ ही वंचित वर्गों से आने वाले समाज के लोगों को अपूरणीय क्षति हुई है."

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आरोपी व्यक्तियों द्वारा कथित गलत लाभ को देखते हुए, रेड्डी ने शिकायत करते हुए कहा कि उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए. वाईएसआरसीपी नेता की शिकायत के बाद, कुमार ने विजयवाड़ा सीआईडी के पुलिस उपाधीक्षक (डीएसपी) एस. सूर्य भास्कर को 25 फरवरी को प्रारंभिक जांच करने का निर्देश दिया था.

प्रारंभिक जांच पूरी करने के बाद, डीएसपी ने अपनी रिपोर्ट पेश की, जिसमें कहा गया कि एडीजीपी के निर्देश पर मामला दर्ज किया गया है. पुलिस ने मंगलगिरी सीआईडी पुलिस स्टेशन में शुक्रवार शाम सात बजे इस संबंध में मामला दर्ज किया. भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है.

नायडू और नारायण पर एससी और एसटी (अत्याचार निवारण) अधिनियम, आंध्र प्रदेश द्वारा निर्दिष्ट भूमि (पीओटी) की धारा 7 के तहत भी मामला दर्ज किया गया है. शिकायत के साथ मूल एफआईआर, जूनियर सिविल जज, गुंटूर को सौंपी गई है और एफआईआर की एक कॉपी जांच अधिकारी को भेजी गई है. एफआईआर को शुक्रवार की रात 9 बजे कोर्ट में भेज दिया गया था.